
'लाडकी बहिण योजना की वजह से किसानों की कर्जमाफी में हो रही देरी', पुणे में बोले महाराष्ट्र के कृषि मंत्री
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नई सरकार स्थापित होने के बाद लाभार्थी महिलाओं का रिव्यू लिया जा रहा है. सरकार का मानना है कि कई महिलाएं गलत तरीके से योजना का लाभ उठा रही हैं. किसी की आय अधिक है तो किसी के घर में गाड़ी है, तो कोई एक से अधिक योजनाओं का लाभ ले रही है. ऐसे में सरकार अब लाभार्थी महिलाओं की स्क्रीनिंग करने वाली है.
पुणे में कृषि मंत्री माणिकराव कोकाटे ने कहा कि महाराष्ट्र राज्य की आर्थिक स्थिति न तो अच्छी है और न ही खराब. उन्होंने कहा कि लाडकी बहिण योजना ने सरकारी तिजोरी पर बोझ डाला है. इसके चलते किसानों को कर्जमाफी नहीं दी जा सकती. आय बढ़ेगी तो किसानों के मामले में फैसला लेंगे.
उन्होंने कहा कि किसान लाडकी बहिण योजना के लिए बाधक नहीं हैं. किसानों के बिजली बिल माफ कर दिए गए हैं. सरकार की ओर से किसानों को 15 हजार करोड़ रुपये दिए गए हैं. लाडकी बहिण योजना के लिए सरकार ने 40-42 हजार करोड़ रुपये खर्च किए हैं. इसमें कुछ रकम कम या ज्यादा होने पर किसानों की कर्ज माफी तय की जाएगी.
'दो सरकारी योजनाओं का लाभ नहीं ले सकतीं बहनें'
माणिकराव कोकाटे ने कहा कि लाडकी बहनें दो योजनाओं का लाभ नहीं ले पाएंगी. एक व्यक्ति केवल एक ही सरकारी योजना का लाभ उठा सकता है. यह निर्णय लाभ लेने वाली लाडकी बहन को लेना है. बता दें कि महाराष्ट्र सरकार ने विधानसभा चुनाव से पहले लाडकी बहिण योजना को कार्यान्वित कर हर महीने पात्र महिलाओं को डेढ़ हजार रुपये उनके खाते में ट्रांसफर कर दिए थे.
चुनाव की आचार संहिता लगने से पहले दिवाली के तोहफे के रूप में एडवांस में पैसे बांटे गए. हर पात्र महिला को कुल साढ़े सात हजार रुपये का लाभ मिला, जिसका असर चुनावों में दिखा और महायुति गठबंधन ने एक बार फिर प्रचंड बहुमत के साथ सत्ता में वापसी की.
लाभार्थी महिलाओं की स्क्रीनिंग करेगी सरकार

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