
बदलापुर एनकाउंटर केस: 'मर्डर' वाली याचिका वापस लेना चाहते हैं अक्षय के परिजन, जानें क्यों लिया ये फैसला
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अक्षय के माता-पिता ने न्यायालय के सामने कहा कि हमारी बहू ने एक बच्चे को जन्म दिया है, हमें उनकी देखभाल करने की जरूरत है, हम इतनी भागदौड़ नहीं कर सकते और इसलिए हम याचिका को वापस लेना चाहते हैं. उन्होंने कोर्ट से गुहार लगाई कि वो अब इस मामले में सुनवाई नहीं चाहते हैं.
महाराष्ट्र के बदलापुर मुठभेड़ में मारे गए अक्षय शिंदे के माता-पिता ने अदालत से कहा कि वो याचिका को वापस लेना चाहते हैं. उन्होंने कोर्ट से गुहार लगाई कि वो अब इस मामले में सुनवाई नहीं चाहते हैं. इस पर मामले की सुनवाई कर रहे जस्टिस रेवती मोहिते-डेरे और डॉ नीला गोखले की पीठ ने उनसे पूछा कि क्या आप ये फैसला किसी दबाव की वजह से ले रहे हैं, लेकिन अक्षय के माता-पिता ने किसी भी तरह के दबाव से इनकार कर दिया.
अक्षय के माता- पिता ने न्यायालय के सामने कहा कि हमारी बहू ने एक बच्चे को जन्म दिया है, हमें उनकी देखभाल करने की जरूरत है, हम इतनी भागदौड़ नहीं कर सकते और इसलिए हम याचिका पर सुनवाई बंद कराना चाहते हैं. हालांकि, पीठ ने कहा हम याचिका पर सुनवाई बंद नहीं कर सकते, हम इस पर सुनवाई कल यानी शुक्रवार को करेंगे. इससे पहले, पीठ ने राज्य सरकार से सीधे सवाल पूछा था कि मजिस्ट्रेट जांच रिपोर्ट में मुठभेड़ के लिए पांच पुलिसकर्मियों को दोषी ठहराए जाने के बाद क्या वे पुलिसकर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराया है.
'रिपोर्ट आने के बाद ही एफआईआर दर्ज होगा' अदालत में लगभग दो घंटे तक चली सुनवाई में राज्य की ओर से पेश हुए वरिष्ठ वकील अमित देसाई ने कहा कि राज्य सीआईडी द्वारा अभी भी एक जांच चल रही है और जब तक मामले से जुड़ी हर जानकारी जांच एजेंसी के सामने नहीं आ जाती, तब तक वह एक कदम भी आगे नहीं बढ़ा सकती और एफआईआर दर्ज नहीं कर सकती. उन्होंने कहा कि अभी तक मामले में एक्सीडेंटल डेथ रिपोर्ट (एडीआर) दर्ज है.
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उन्होंने कहा कि मैं एडीआर के आधार पर कदम नहीं उठा सकता और मैं केवल अपनी जांच पर कोई कदम उठा सकता हूं, जो अभी भी चल रही है. जस्टिस डेरे ने फिर पूछा, क्या यह जांच अनिश्चित काल तक जारी रखी जा सकती है. हम इस मामले में न्यायाय कब देखेंगे? उन्होंने कहा कि बैलिस्टिक, फोरेंसिक रिपोर्ट, सीडीआर, बयान आपके पास हैं. बताएं कि अब क्या जांच चल रही है?
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महाराष्ट्र के चंद्रपुर में कर्ज चुकाने के लिए किडनी बेचने का दावा करने वाले किसान रोशन कुदे की मेडिकल जांच में पुष्टि हुई है कि उसके पास केवल एक किडनी है. मामले में छह साहूकार गिरफ्तार किए गए हैं. पुलिस मानव अंग तस्करी और अवैध कर्ज वसूली के एंगल से जांच कर रही है. दावे के मुताबिक इस किसान ने साहूकारों से 50 हजार का कर्ज लिया था जो ब्याज के साथ बढ़कर 74 लाख रुपये तक पहुंच गया.

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