Buddha Purnima 2024: 'बस 'चौथी पत्नी' ही हर वक्त रहती है साथ', गौतम बुद्ध ने क्यों कही थी ये बात?
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buddha purnima 2024: गौतम बुद्ध ने सही तरीके से जीवन जीने को लेकर तमाम उपदेश दिए. एक बार बुद्ध ने अपने शिष्यों को 'एक पुरुष और चार पत्नियों' की कहानी सुनाई जिसमें एक अहम संदेश छिपा था. बुद्ध के प्रारंभिक उपदेश वाले 32 आगम सूत्रों में से एक में इस कहानी का जिक्र है.
Buddha Purnima 2024: हर साल वैशाख पूर्णिमा या बुद्ध पूर्णिमा के दिन बुद्ध जयंती मनाई जाती है. ऐसी मान्यताएं हैं कि बौद्ध धर्म के संस्थापक गौतम बुद्ध का जन्म इसी तिथि को हुआ था. बुद्ध ने दुनिया को अहिंसा, करुणा और सम्पूर्ण विश्व को शांति का संदेश दिया था. भगवान बुद्ध के उपदेश आज भी लोगों का मार्गदर्शन कर रहे हैं. भगवान बुद्ध ने पूरी दुनिया को करुणा और सहिष्णुता के मार्ग के लिए प्रेरित किया. भगवान बुद्ध का कहना था कि प्रत्येक पुरुष की चार पत्नियां होती हैं, यह सुनने में थोड़ा विवादास्पद जरूर लगता है, लेकिन इसके पीछे एक बड़ी ही दिलचस्प कहानी है. बुद्ध के प्रारंभिक उपदेश वाले 32 आगम सूत्रों में से एक में इस कहानी का जिक्र है.
बुद्ध ने सुनाई चार पत्नियों की कहानी
महात्मा बुद्ध की इस कथा के अनुसार, एक आदमी की चार पत्नियां थीं. प्राचीन भारत की सामाजिक व्यवस्था में एक पुरुष को कई पत्नियां रखने की इजाजत थी. बुढ़ापे में वो आदमी बहुत बीमार रहने लगा. उसे अपनी मौत नजर आने लगी थी. जीवन के अंतिम पड़ाव पर वो अकेलापन महसूस करने लगा था. तब उसने अपनी पहली पत्नी को बुलाया और उसे अपने साथ दूसरी दुनिया में चलने के लिए कहा. व्यक्ति ने कहा, 'मेरी प्यारी पत्नी, मैंने तुम्हें दिन-रात प्यार किया, जीवन भर तुम्हारा ख्याल रखा. अब मैं मरने वाला हूं, क्या तुम मेरे साथ वहां चलोगी जहां मैं अपनी मृत्यु के बाद जाऊं?' उस व्यक्ति को उम्मीद थी कि उसकी पहली पत्नी का जवाब हां ही होगा, लेकिन उसने जवाब दिया, 'मेरे प्यारे पति, मुझे पता है कि आप हमेशा मुझसे प्यार करते थे और अब आपका अंत करीब है. ऐसे में अब आपसे अलग होने का समय आ गया है. अलविदा मेरे प्रिय.'
दूसरी पत्नी का जवाब
पहली पत्नी से ना सुनने के बाद उसने अपनी दूसरी पत्नी को आजमाया. उसने अपनी दूसरी पत्नी को पास बुलाया और मौत के बाद के सफर पर साथ चलने को कहा. उसने कहा, 'मेरी प्यारी दूसरी पत्नी, तुम जानती हो कि मैंने तुम्हे कितना प्यार किया है. कभी-कभी मुझे डर लगता था कि तुम मुझे छोड़ दोगी, लेकिन मैंने तुम्हें दृढ़ता से थामे रखा. मेरी प्रिय, मेरे साथ दूसरे सफर पर चलो.' दूसरी पत्नी ने जवाब दिया, 'प्रिय पति, आपकी पहली पत्नी ने ही मृत्यु के बाद आपके साथ चलने से इनकार कर दिया तो फिर मैं भला आपके साथ कैसे जा सकती हूं? जबकि आपने तो मुझे केवल अपने स्वार्थ के लिए प्यार किया था.'
तीसरी पत्नी का जवाब