Gujrat: आखिर पटेल को ही सीएम बनाना क्यों है बीजेपी की मजबूरी? मोदी कैसे थे इससे अलग
Zee News
हार्दिक पटेल और कांग्रेस ने बीजेपी को काफी टक्कर दी थी. हालांकि बीजेपी पिछले चुनाव में अपना किला बचाने में सफल रही थी लेकिन इस बार वो पहले से ही ये समीकरण साध लेना चाहती है.
नई दिल्लीः गुजरात में शनिवार को हुए बड़े राजनीतिक उलटफेर के बीच रविवार को भूपेंद्र पटेल राज्य के नए मुखिया चुन लिए गए. विधायक दल की हुई बैठक में भूपेंद्र के नाम पर मुहर लग गई और मीडिया रपटों के अनुसार कल यानी कि सोमवार को मुख्यमंत्री पद की शपथ ले सकते हैं. हालांकि, भूपेंद्र के नाम के ऐलान के साथ ही बीजेपी ने एक बार फिर सभी को चौंका दिया है. क्योंकि विजय रुपाणी के इस्तीफे के बाद जिन नामों के मुख्यमंत्री बनने की अटकलें थी उनमें भूपेंद्र का नाम चर्चा में नहीं था. हालांकि, ये तय था कि बीजेपी किसी पाटीदार को ही कमान सौंपेगी. अब आइए जानते हैं कि आखिर पटेल को कमान देने के पीछे क्या वजहें थीं. पटेल को ही सीएम पद क्यों गुजरात की राजनीति पर अगर नजर डालें तो लंबे समय से ही पटेल समुदाय राज्य की सियासत में बड़ी अहमियत रखता है, एक समय कांग्रेस के प्रति इस समुदाय का समर्थन था. जिसकी बदौलत कांग्रेस ने राज किया. लेकिन फिर पटेल समुदाय का रुझान बीजेपी की ओर बढ़ा. लेकिन मोदी के सत्ता छोड़ते ही पाटीदार आंदोलन ने फिर आवाज तेज कर दी थी. जिसका असर ये हुआ था कि बीजेपी का गढ़ माने जाने वाले गुजरात में पिछले विधानसभा चुनाव में भाजपा को काफी मशक्कत करनी पड़ी थी.More Related News