मीडिया कवरेज: कुंभ पर कैसी है और तबलीग़ी जमात पर कैसी थी
BBC
भारत की घटनाओं में इस वक़्त दो टाइमलाइन दिख रही हैं. एक मौत और मायूसी से जुड़ी घटनाओं का सिलसिला है, तो दूसरी का वास्ता आस्था, त्योहार और जमावड़े से है.
" गुरुवार: हरिद्वार के कुंभ मेले में 10 से 14 अप्रैल के बीच 1701 लोग कोरोना पॉज़िटिव पाए गए" इस वक़्त देश की घटनाओं की दो टाइमलाइन दिख रही हैं. एक मौत और मायूसी से जुड़ी घटनाओं का सिलसिला है तो दूसरी का वास्ता आस्था, त्योहार और जमावड़े से है. इस दूसरे सिलसिले से राजनीतिक नेताओं को कोई परहेज़ नहीं हैं. इस जमावड़े को वे निरापद मानते हैं क्योंकि इसमें शामिल लोगों पर ऊपर बैठे देवता अपनी कृपा बरसा रहे हैं. पहली टाइमलाइन में श्मशानों के बाहर इंतज़ार कर रहे लोगों का मंज़र है. मरीज़ों के परिजन अस्पतालों के बाहर बेड के लिए टकटकी लगाए खड़े हैं. टेस्ट रिज़ल्ट का इंतज़ार हो रहा है. धड़कते दिलों से लोग ऑक्सीजन और वेंटिलेंटर का इंतज़ार कर रहे हैं. मौतें हो रही हैं. लोगों की इस दुनिया में फिर एक बार प्रवासी मज़दूरों के हुजूम दिखाई देने लगे हैं. एक बार फिर वे बोरिया-बिस्तर बांध कर ट्रेनों से घर लौटते दिखाई पड़ रहे हैं. इस दुनिया में सब कुछ ग़लत है. इस दुनिया में 'कर्फ्यू' का ऐलान हो रहा है. किसी सामाजिक और धार्मिक समारोह में 50 से ज़्यादा लोगों के इकट्ठा होने पर पाबंदी लगाई जा रही है.More Related News