दुबई इतने कम सालों में चकाचौंध और गगनचुंबी इमारतों का शहर कैसे बन गया
BBC
दुबई चुम्बक की तरह लोगों को आकर्षित करता है, लेकिन क्या आपको पता है कि तीस साल पहले तक वहां ऐसा कुछ भी नहीं था. आख़िर कैसे हुआ ये कायापलट. कहानी दुबई में हुए चमत्कार की.
इस साल जब अगस्त के पहले हफ़्ते में, अमेरिकी राज्य जॉर्जिया के एक छोटे से शहर की रहने वाली निकोल स्मिथ लुडविक ने दुनिया की सबसे ऊंची इमारत बुर्ज ख़लीफा की चोटी पर जा कर कहा, कि "हाय मॉम, आई एम एट टॉप ऑफ़ दि वर्ल्ड' (हाय माँ मैं दुनिया की चोटी पर हूँ) तो वह सिर्फ़ बुर्ज ख़लीफा की ऊंचाई के बारे में बात नहीं कर रही थी, यह ऊंचाई दुबई की भी थी जो बहुत ही कम समय में विकास करता हुआ 'बुर्ज ख़लीफा' बन गया है और इसमें और मंज़िलें बढ़ती जा रही हैं.
स्काइडाइवर और एक्स्ट्रीम स्पोर्ट्स की खिलाड़ी निकोल स्मिथ ब्रिटेन की तरफ़ से संयुक्त अरब अमीरात को यात्रा प्रतिबंध की रेड लिस्ट से बाहर निकाले जाने पर राष्ट्रीय एयरलाइन एमिरेट्स के लिए एक विज्ञापन में काम कर रही थीं.
दुनिया में इससे पहले कभी भी इतनी ऊंचाई (828 मीटर) पर कोई विज्ञापन नहीं फ़िल्माया गया था.
लेकिन इससे पहले किसी और देश ने इतने कम सालों में इतना ज़्यादा विकास भी नहीं किया है. जहां 30 साल पहले तक सिर्फ़ धूल उड़ती नज़र आती थी, वहां अब दुनिया की सबसे अच्छी सड़कें और अत्याधुनिक मेट्रो दौड़ती नज़र आती है. जहां कभी दूर-दूर कोई एक, दो मंज़िला मकान दिखाई देता था, वहां अब शानदार गगनचुंबी इमारतें खड़ी हैं और दुनिया भर के पर्यटक और कारोबारी लोग, जिनकी प्राथमिकता लंदन, पेरिस और न्यूयॉर्क होते थे, अब दुबई का रुख़ करते हैं.