नाथूराम गोडसेः महात्मा गांधी की हत्या करने वाले से जुड़े राज़
BBC
नाथूराम गोडसे को कितना जानते हैं आप? महात्मा गांधी की हत्या के वक्त क्या गोडसे संघ के सदस्य थे? गोडसे से जुड़े कुछ महत्वपूर्ण सवाल.
30 जनवरी 1948 की शाम, नाथूराम विनायक गोडसे ने बेहद क़रीब से तीन गोली दाग कर भारत के उस वक्त के सबसे जानेमाने नेता महात्मा गांधी की हत्या कर दी.
जिस वक्त ये हत्या हुई उस वक्त गांधी देश की राजधानी, दिल्ली में एक प्रार्थना सभा के लिए निकले थे.
38 वर्षीय जोशीले गोडसे एक दक्षिणपंथी पार्टी हिंदू महासभा के सदस्य थे. इस पार्टी ने गांधी पर मुसलमान समर्थक होने और पाकिस्तान के प्रति नरमी दिखाकर हिंदुओं के साथ विश्वासघात करने का आरोप लगाया था.
उन्होंने विभाजन के वक़्त हुई हिंसा और रक्तपात का आरोप भी गांधी पर लगाया जिसके बाद अगस्त 1947 में ब्रिटेन से आज़ाद होकर पाकिस्तान बना था.
गांधी की हत्या के एक साल बाद ट्रायल कोर्ट ने गोडसे को सज़ा-ए-मौत सुनाई. हाई कोर्ट की सुनवाई में सज़ा को बरकरार रखने का आदेश दिया गया जिसके बाद नवंबर 1949 को नाथूराम गोडसे को फ़ांसी दे दी गई. (गांधी की हत्या के आरोप में गोडसे के साथी नारायण आप्टे को भी मौत की सज़ा ही दी गई थी, जबकि अन्य छह लोगों को आजीवन कारावास की सज़ा सुनाई गई थी.)