Target Killing के बीच कश्मीरी पंडितों का मोदी सरकार कैसे कराएगी पुनर्वास?
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जम्मू कश्मीर में जब भी आतंकियों के पैरों तले जमीन खिसकती है. वो कश्मीरी पंडितों से बदले की आग में जलाने लगते हैं बीते कुछ दिनों से यही हो रहा है. कश्मीर घाटी में हिंदुओं और सिखों को चुन-चुनकर निशाना बनाया जा रहा है. इस वजह से घाटी में शांति की जगह तनाव ने ले ली है. टारगेट किलिंग के बीच कश्मीरी पंडितों का पुनर्वास मोदी सरकार के लिए एक बड़ा चैलेंज बन गया है. एक के बाद एक हत्यों से कश्मीर का माहौल एक बार फिर तनाव से घिर गया. घाटी के कश्मीरी पंडित और सिखों के करीब 150 परिवारों ने जम्मू में शरण लेते हुए देखे गए. इस वीडियो में तस्वीरों को देखकर एक बार फिर पूछा जाने लगा कि क्या घाटी में एक बार फिर 90 के दशक जैसे हालात बन रहे हैं क्योंकि अनुच्छेद 370 के बाद कश्मीरी पंडितों की घर वापसी की बातें हो रही थीं. सरकार की पहल का अच्छा असर होता भी दिख रहा था. टारगेट किलिंग के बीच कश्मीरी पंडितों का मोदी सरकार कैसे कराएगी पुनर्वास? देखें ये वीडियो.
एक अधिकारी ने बताया कि यह घटना आइजोल शहर के दक्षिणी बाहरी इलाके में मेल्थम और ह्लिमेन के बीच के इलाके में सुबह करीब छह बजे हुई. रिपोर्ट में कहा गया है कि भूस्खलन के प्रभाव के कारण कई घर और श्रमिक शिविर ढह गए, जिसके मलबे के नीचे कम से कम 21 लोग दब गए. अब तक 13 शव बरामद किए जा चुके हैं और आठ लोग अभी भी लापता हैं.