स्वास्थ्य मंत्री नब दास का कभी करीबी था आरोपी ASI! सर्विस बुक में भी 'अच्छा रिकॉर्ड'
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ओडिशा के स्वास्थ्य मंत्री नब किशोर दास की हत्या के मामले में सीआईडी क्राइम ब्रांच जांच में जुटी है. आरोपी ASI गोपाल कृष्ण दास से लगातार पूछताछ की जा रही है. हालांकि, दूसरे दिन भी घटना की वजह स्पष्ट नहीं हो सकी है. लेकिन, जो जानकारियां सामने आ रही हैं, वो चौंकाने वाली हैं. आरोपी ASI एक समय नब दास का निजी सुरक्षा अधिकारी रहा है.
ओडिशा के स्वास्थ्य मंत्री नब किशोर दास मर्डर मिस्ट्री में बेहद चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है. आजतक के हाथ वो एफआईआर लगी है, जो आरोपी ASI के खिलाफ दर्ज करवाई गई है. इसमें पूरे घटनाक्रम का सिलसिलेवार विवरण दिया गया है. इसके साथ ही यह भी सामने आया है कि आरोपी ASI कभी स्वास्थ्य मंत्री नब किशोर दास को निजी सुरक्षा अधिकारी रहा है. इतना ही नहीं, पुलिस की सर्विस बुक में भी उसका अच्छा रिकॉर्ड दिखाया गया है. यही वजह है कि ASI को चौकी प्रभारी तक की जिम्मेदारी सौंप दी गई थी. सर्विस बुक में उसकी मानसिक बीमारी का जिक्र नहीं है. जानिए पहले FIR में क्या है...
ओडिशा के स्वास्थ्य मंत्री नब किशोर दास की हत्या के मामले में ब्रजराजनगर पुलिस थाने के IIC प्रद्युम्न स्वैन (Pradyumna Swain) ने स्वत: संज्ञान लिया है और प्राथमिकी दर्ज कराई है. इस FIR में लिखा है- स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री नब किशोर दास रविवार (29 जनवरी, 2023) को गांधी चौक स्थित लिफ्ट और शिफ्ट बिल्डिंग में ब्रजराजनगर के अध्यक्ष/उपाध्यक्ष के कार्यालय का उद्घाटन करने वाले थे. मंत्री नब दास की कार दोपहर करीब 12.15 बजे कार्यक्रम स्थल के पास रुकी. जैसे ही नाब दास कार का गेट खोलने के बाद नीचे उतरे तो ट्रैफिक क्लीयरेंस के लिए ड्यूटी में तैनात ASI गोपाल कृष्ण दास करीब आया और अपनी सर्विस पिस्टल से मंत्री की हत्या करने के स्पष्ट इरादे से निशाना साधा और बहुत करीब से गोली चला दी. घटनास्थल से 50 मीटर दूर ही उसकी बाइक खड़ी मिली.
'गोली मारने के बाद भाग रहा था गोपाल कृष्ण'
ब्रजराजनगर IIC ने मामले में अपनी शिकायत में यह भी कहा- मैंने रामपुर पुलिस चौकी के कांस्टेबल केसी प्रधान के साथ मिलकर हमलावर ASI गोपाल कृष्ण दास को पकड़ लिया. हालांकि, मौके पर कुछ संघर्ष और कहासुनी के दौरान आरोपी ने अपनी 9 MM पिस्टल से दो राउंड और गोलियां चला दीं. हमें पता चला है कि आरोपी द्वारा दूसरे राउंड की फायरिंग में पुलिस वाले की उंगली में भी कुछ चोट आई है. कालीनगर के जीबनलाल नायक के रूप में पहचाने गए एक अन्य व्यक्ति को भी चोटें आईं.
'कांग्रेस विधायक थे नब किशोर, तब PSO रहा गोपाल'
जांच में यह भी सामने आया है कि आरोपी ASI कभी मंत्री नब किशोर का निजी सुरक्षा अधिकारी (पीएसओ) रहा है. यानी वो मंत्री के बारे में बेहतर तरीके से जानता था. वर्तमान में गोपाल दास गांधी नगर चौकी में प्रभारी के तौर पर तैनात था. नब दास जब कांग्रेस के विधायक थे, तब गोपाल कृष्ण दास को पीएसओ के रूप में नियुक्त किया गया था.
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