सुप्रीम कोर्ट ने प्रफुल्ल पटेल की कमेटी को हटाया, फुटबॉल फेडरेशन के संचालन के लिए तीन प्रशासक नियुक्त
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दिल्ली फुटबॉल क्लब ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल कर एनसीपी नेता प्रफुल्ल पटेल की अगुआई वाली कमेटी के खिलाफ भ्रष्टाचार व फेडरेशन पर अवैध कब्जा करने का आरोप लगाया था.
सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को दिल्ली फुटबॉल क्लब की याचिका पर सुनवाई की. कोर्ट ने इस मामले में ऑल इंडिया फुटबॉल फेडरेशन में एनसीपी नेता प्रफुल्ल पटेल की अगुआई वाली कमेटी को हटाने का आदेश दिया है. वहीं कोर्ट ने तीन सदस्यीय कमेटी ऑफ एडमिनिस्ट्रेटर्स को फेडरेशन के कामकाज, टूर्नामेंट कराने, खिलाड़ियों के चुनाव के लिए सत्र आयोजित करने की भी जिम्मेदारी दी है.
कमेटी की अगुआई सुप्रीम कोर्ट के सेवानिवृत्त जज जस्टिस ए आर दवे करेंगे. कमेटी में पूर्व मुख्य निर्वाचन आयुक्त एस वाई कुरैशी और भारतीय फुटबॉल टीम के पूर्व कप्तान भास्कर गांगुली भी शामिल होंगे. यह प्रशासक कमेटी जल्द ही फेडरेशन के चुनाव करवाएगी. सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस डीवाई चंद्रचूड, जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस पीएस नरसिम्हा की पीठ ने यह फैसला सुनाया.
फुटबॉल के हित में काम नहीं कर रही थी कमेटी
सुप्रीम कोर्ट के तीन जजों की पीठ ने सुनवाई के दौरान माना कि मौजूदा प्रफुल्ल पटेल की कमेटी फुटबॉल के हित में काम नहीं कर रही है. इसकी अगुआई में फुलबॉल फेडरेशन का प्रशासन और प्रबंधन लचर हो गया है. पीठ ने तीन सदस्यीय नई प्रशासक कमेटी को फेडरेशन का कार्यभार लेकर फौरन कोर्ट को अपने इनपुट देने हैं ताकि फेडरेशन अपने उद्देश्यों में कामयाब हो.
फेडरेशन के संविधान, खेल संहिता पर भी होगा काम
कोर्ट ने सुनवाई में नई प्रशासक कमेटी को फेडरेशन के संविधान और राष्ट्रीय खेल संहिता और दिशा निर्देशिका को लेकर सभी चीजें तय करने को कहा है. इस प्रशासनिक कमेटी के दोनों सदस्य एस वाई कुरैशी और भास्कर गांगुली फेडरेशन की कार्यकारी समिति के चुनाव के मद्देनजर मतदाता मंडल की सूची भी तैयार करेंगे.
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