
क्या होगा 'शिवराज मामा' का... लाडली योजना के ब्रांड एंबेसडर की केंद्रीय कैबिनेट में होगी एंट्री?
AajTak
मध्य प्रदेश मोहन राज के आगाज के मुहाने पर खड़ा है और सवाल शिवराज सिंह चौहान के भविष्य को लेकर भी उठ रहे हैं. चार बार के पूर्व सीएम का सियासी भविष्य क्या होगा?
मध्य प्रदेश में शिवराज सिंह चौहान की जगह मोहन यादव नए मुख्यमंत्री होंगे. भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के नवनिर्वाचित विधायकों की बैठक में नए सीएम का चयन किया गया. विधायक दल की बैठक में शिवराज ने विधायक दल के नेता के लिए मोहन यादव के नाम का प्रस्ताव दिया और मौजूद सभी विधायकों ने इस प्रस्ताव का समर्थन किया. बीजेपी विधायक दल की बैठक के बाद जैसे ही सीएम के लिए मोहन यादव के नाम का ऐलान हुआ सभी चौंक गए. निवर्तमान सीएम शिवराज सिंह चौहान का क्या होगा? चर्चा इसे लेकर शुरू हो गई.
चर्चा ये शुरू हो गई कि मध्य प्रदेश की सत्ता के शीर्ष पर जारी सफर समाप्त होने के बाद अब मामा का क्या होगा? क्या शिवराज केंद्र सरकार में कृषि मंत्री बनेंगे, लोकसभा चुनाव लड़ेंगे या संगठन के काम में जुट जाएंगे, शिवराज के सामने अब क्या विकल्प हैं? तमाम कयासों के बीच सीएम शिवराज का एक बयान आया है. मोहन यादव को मुख्यमंत्री पद के लिए चुने जाने के बाद उन्होंने कहा है कि मैं अपने लिए कुछ मांगने की अपेक्षा मरना पसंद करूंगा. पार्टी ने मुझे सब कुछ दिया, अब मेरी बारी है कि पार्टी को दूं. शिवराज का ये बयान क्या इशारा करता है?
शिवराज के बयान में क्या संदेश
सीएम शिवराज के बयान में पार्टी के प्रति निष्ठा तो है ही, भविष्य में संगठन के लिए काम करने का संकेत भी है. शिवराज पहले भी बार-बार यह कहते रहे हैं कि मैं दिल्ली नहीं जाऊंगा. शिवराज मध्य प्रदेश चुनाव नतीजों के बाद कमलनाथ के गढ़ छिंदवाड़ा और दिग्विजय सिंह के गढ़ राघौगढ़ पहुंचकर रैली की. शिवराज नए सीएम के ऐलान से पहले लगातार इस तरह के संकेत देते रहे कि उनका लक्ष्य 2024 का चुनाव है. शिवराज ने यह भी कहा था कि 2024 में पीएम मोदी को 29 कमल का हार पहनाना चाहता हूं. अब ताजा बयान को भी इसी से जोड़कर देखा जा रहा है.
शिवराज के लिए आगे की राह क्या होगी?
साल 2005 में पहली बार सत्ता की बागडोर संभालने के बाद से 2023 के चुनाव नतीजों के बाद हुई विधायक दल की बैठक तक, मध्य प्रदेश में बीजेपी की सरकार के पर्याय रहे शिवराज सिंह चौहान इस बार सीएम नहीं होंगे. ऐसे में सवाल ये भी है कि अब शिवराज के लिए आगे की राह क्या होगी? क्या शिवराज केंद्र सरकार में मंत्री बनेंगे? क्या लाडली योजनाओं के ब्रांड एम्बेसडर को बीजेपी इस बार लोकसभा चुनाव लड़ाएगी? क्या शिवराज को बीजेपी संगठन में बड़ा पद देगी? सवाल तमाम उठ रहे हैं.

संसद के शीतकालीन सत्र में 8 और 9 दिसंबर 2025 को राष्ट्रगीत वंदे मातरम् पर दोनों सदनों में विशेष चर्चा होगी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय मंत्री इस चर्चा को संबोधित करेंगे. चर्चा का उद्देश्य वंदे मातरम् के स्वतंत्रता संग्राम में योगदान, ऐतिहासिक महत्व और वर्तमान प्रासंगिकता को उजागर करना है.

भारत-रूस बिजनेस फोरम में पीएम मोदी ने कहा कि भारत और रूस के बीच संबंध मजबूत हो रहे हैं और दोनों देशों ने द्विपक्षीय व्यापार को बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण लक्ष्यों को निर्धारित किया है. राष्ट्रपति पुतिन के साथ चर्चा में यह स्पष्ट हुआ कि व्यापार लक्ष्य समय से पहले पूरा किया जाएगा. कई क्षेत्रों जैसे लॉजिस्टिक्स, कनेक्टिविटी, मरीन प्रोडक्ट्स, ऑटोमोबाइल, फार्मा, और टेक्सटाइल में सहयोग को आगे बढ़ाया जा रहा है.

जम्मू-कश्मीर के 711 अग्निवीर आज भारतीय सेना का हिस्सा बन गए हैं. श्रीनगर स्थित जम्मू कश्मीर लाइट इन्फैंट्री रेजिमेंट सेंटर में इन्हें कठोर प्रशिक्षण दिया गया, जिसके बाद ये अग्निवीर देश की सुरक्षा के लिए सीमाओं पर तैनात होंगे. इससे न केवल भारतीय सेना की क्षमता में वृद्धि हुई है, बल्कि क्षेत्रीय सुरक्षा भी मजबूत हुई है.

देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व वाली महायुति सरकार ने शुक्रवार को अपने एक साल का सफर तय कर लिया है. संयोग से इस समय महाराष्ट्र में स्थानीय निकायों के चुनाव चल रहे हैं, जिसे लेकर त्रिमूर्ति गठबंधन के तीनों प्रमुखों के बीच सियासी टसल जारी है. ऐसे में सबसे ज्यादा चुनौती एकनाथ शिंदे के साथ उन्हें बीजेपी के साथ-साथ उद्धव ठाकरे से भी अपने नेताओं को बचाए रखने की है.

नो-फ्रिल्स, जीरो कर्ज, एक ही तरह के जहाज के साथ इंडिगो आज भी खड़ी है. लेकिन नए FDTL नियमों और बढ़ते खर्च से उसकी पुरानी ताकत पर सवाल उठ रहे हैं. एयर इंडिया को टाटा ने नया जीवन दिया है, लेकिन अभी लंबी दौड़ बाकी है. स्पाइसजेट लंगड़ाती चल रही है. अकासा नया दांव लगा रही है. इसलिए भारत का आसमान जितना चमकदार दिखता है, एयरलाइन कंपनियों के लिए उतना ही खतरनाक साबित होता है.








