
BJP पर दबाव या नीतीश कुमार को साइडलाइन करने की स्ट्रैटेजी? चिराग का बिहार CM रेस में आने के मायने क्या हैं
AajTak
चिराग पासवान के बहनोई और सांसद अरुण भारती ने रविवार को सिलसिलेवार सोशल मीडिया पोस्ट कर हलचल मचा दी कि पार्टी कार्यकर्ता चाहते हैं कि चिराग आगामी बिहार चुनाव में आरक्षित सीट से नहीं बल्कि सामान्य सीट से चुनाव लड़े ताकि सशक्त संदेश दिया जा सके कि वह सिर्फ दलित समुदाय के नेता नहीं है बल्कि पूरे बिहार का नेतृ्त्व करने को तैयार है.
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) की ख्वाहिश है कि पार्टी सुप्रीमो चिराग पासवान बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव लड़े और वह भी किसी आरक्षित सीट से नहीं बल्कि सामान्य सीट से. अब ऐसे में अंदेशा है कि चिराग पासवान बिहार के मुख्यमंत्री पद के लिए नरेंद्र मोदी सरकार से इस्तीफा देने को तैयार हैं.
चिराग पासवान के बहनोई और सांसद अरुण भारती ने रविवार को सिलसिलेवार सोशल मीडिया पोस्ट कर हलचल मचा दी कि पार्टी कार्यकर्ता चाहते हैं कि चिराग आगामी बिहार चुनाव में आरक्षित सीट से नहीं बल्कि सामान्य सीट से चुनाव लड़े ताकि सशक्त संदेश दिया जा सके कि वह सिर्फ दलित समुदाय के नेता नहीं है बल्कि पूरे बिहार का नेतृत्व करने को तैयार है.
रोचक है कि चिराग पासवान के बिहार विधानसभा चुनाव लड़ने पर चर्चा उस समय शुरू हुई, जब चिराग ने ये कहा था कि वह स्टेट पॉलिटिक्स पर फोकस करने के लिए केंद्र में काम करने की बजाए बिहार लौटना चाहते हैं.
बिहार CM की रेस में चिराग?
चिराग पासवान तीन बार के सांसद हैं और मौजूदा समय में नरेंद्र मोदी सरकार में खाद्य प्रसंस्करण मंत्री हैं. वह 2014 और 2019 में जमुई (अनुसूचित जाति) से चुने गए थे जबकि 2024 में हाजीपुर (अनुसूचित जाति) से सांसद चुने गए.
चिराग के 2024 में केंद्रीय कैबिनेट में शामिल किया गया था. चिराग की पार्टी की ओर से यह नैरेटिव स्थापित करने की कोशिश की जा रही है कि चिराग को विधानसभा चुनाव लड़ना चाहिए और बिहार की अगुवाई करनी चाहिए.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस के राष्ट्रपति को रूसी भाषा में भगवद गीता का एक विशेष संस्करण भेंट किया है. इससे पहले, अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति को भी गीता का संस्करण दिया जा चुका है. यह भेंट भारत की सांस्कृतिक और आध्यात्मिक विरासत को साझा करने का प्रतीक है, जो विश्व के नेताओं के बीच मित्रता और सम्मान को दर्शाता है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन को कई अनोखे और खास तोहफे भेंट किए हैं. इनमें असम की प्रसिद्ध ब्लैक टी, सुंदर सिल्वर का टी सेट, सिल्वर होर्स, मार्बल से बना चेस सेट, कश्मीरी केसर और श्रीमद्भगवदगीता की रूसी भाषा में एक प्रति शामिल है. इन विशेष तोहफों के जरिए भारत और रूस के बीच गहरे संबंधों को दर्शाया गया है.

चीनी सरकारी मीडिया ने शुक्रवार को राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के उन बयानों को प्रमुखता दी, जिनमें उन्होंने भारत और चीन को रूस का सबसे करीबी दोस्त बताया है. पुतिन ने कहा कि रूस को दोनों देशों के आपसी रिश्तों में दखल देने का कोई अधिकार नहीं. चीन ने पुतिन की भारत यात्रा पर अब तक आधिकारिक टिप्पणी नहीं की है, लेकिन वह नतीजों पर नजर रखे हुए है.

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के सम्मान में राष्ट्रपति भवन में शुक्रवार रात डिनर का आयोजन किया गया. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार इस डिनर में लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को निमंत्रण नहीं दिया गया. इसके बावजूद कांग्रेस के सांसद शशि थरूर को बुलाया गया.

आज रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ शिखर वार्ता के मौके पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत–रूस मित्रता एक ध्रुव तारे की तरह बनी रही है. यानी दोनों देशों का संबंध एक ऐसा अटल सत्य है, जिसकी स्थिति नहीं बदलती. सवाल ये है कि क्या पुतिन का ये भारत दौरा भारत-रूस संबंधों में मील का पत्थर साबित होने जा रहा है? क्या कच्चे तेल जैसे मसलों पर किसी दबाव में नहीं आने का दो टूक संकेत आज मिल गया? देखें हल्ला बोल.

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मंदिर में जमा पैसा देवता की संपत्ति है और इसे आर्थिक संकट से जूझ रहे सहकारी बैंकों को बचाने के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता. कोर्ट ने केरल हाई कोर्ट के उस आदेश को बरकरार रखा, जिसमें थिरुनेल्ली मंदिर देवस्वोम की फिक्स्ड डिपॉजिट राशि वापस करने के निर्देश दिए गए थे. कोर्ट ने बैंकों की याचिकाएं खारिज कर दीं.







