
'बिना रुकावट के कारोबार सिर्फ हमारे नहीं, पूरी दुनिया के हित में', चीनी विदेश मंत्री से बोले जयशंकर
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2020 के गलवान घाटी विवाद के बाद पहली बार विदेश मंत्री एस. जयशंकर चीन के शंघाई सहयोग संगठन सम्मेलन में भाग लेने के लिए बीजिंग पहुंचे. जयशंकर ने व्यापार बाधाओं को हटाने और लोगों के बीच संपर्क मजबूत करने पर जोर दिया.
2020 में गलवान में हुई हिंसक झड़प के बाद पहली बार विदेश मंत्री एस. जयशंकर चीन के यात्रा पर गए हैं. यहां वह एससीओ सम्मेलन 2025 (शंघाई सहयोग संगठन) में हिस्सा लेने के लिए गए हैं. साथ ही जयशंकर की इस यात्रा का उद्देश्य सीमावर्ती विवादों को शांति और स्थिरता के साथ हल करना, व्यापारिक और तकनीकी सहयोग को बढ़ावा देना.
एस. जयशंकर ने चीन के विदेश मंत्री वांग यी के साथ बैठक की. इस दौरान उन्होंने व्यापार, सीमा विवाद से लेकर शांति बहाली जैसे मुद्दों पर चर्चा की.
बिना रुकावट के व्यापार जरूरी
जयशंकर ने कहा है कि दोनों देशों को आपस में व्यापार करने के दौरान किसी भी तरह की बंदिशें या पाबंदियां नहीं लगानी चाहिए. इससे दोनों देशों को नुकसान होगा.
लोगों के बीच मिलना-जुलना बढ़ना चाहिए
उन्होंने कहा कि अगर भारत और चीन के आम लोग आपस में मिलते-जुलते रहेंगे, तो इससे सहयोग बढ़ेगा और रिश्ते मजबूत होंगे.

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