किसान आंदोलन के 180 दिन: 11 दौर की वार्ता, सुप्रीम कोर्ट का दखल, फिर भी नहीं निकला कोई हल
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तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ किसान आंदोलन बुधवार को 180 दिन पूरे हो रहे हैं. इस दौरान किसान संगठन और मोदी सरकार के बीच 11 बार बातचीत हुई, लेकिन वो भी किसी नतीजे पर नहीं पहुंची. आंदोलन के छह महीने पूरे होने पर किसान संगठनों ने 26 मई को काला दिवस मना रहे हैं.
कोरोना महामारी का प्रकोप बढ़ने के बावजूद कृषि कानून वापसी की मांग को लेकर दिल्ली बार्डर पर धरना दे रहे किसानों के तेवर बरकरार हैं. तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ किसान आंदोलन बुधवार को 180 दिन यानी छह महीने पूरे हो रहे हैं. इस दौरान किसान संगठन और मोदी सरकार के बीच 11 बार बातचीत हुई, लेकिन वो भी किसी नतीजे पर नहीं पहुंची. आंदोलन के छह महीने पूरे होने पर किसान संगठन 26 मई को काला दिवस मना रहे हैं. बता दें कि केंद्र सरका द्वारा लाए गए तीनों कृषि कानूनों के खिलाफ 26 नवंबर 2020 से दिल्ली की सीमा पर किसानों का आंदोलन शुरू हुआ था. पंजाब और हरियाणा के बाद उत्तर प्रदेश के किसानों के सीमाओं पर पहुंचने के बाद आंदोलन ने शुरुआती दौर में रफ्तार पकड़ ली. मांगें पूरी होने तक घर न लौटने के फैसले पर अडिग किसानों को सीमाओं से बुराड़ी ग्राउंड पर प्रदर्शन के लिए जगह की सिफारिश की गई, लेकिन इसे खारिज कर दिया गया था.पूरे देश में इन दिनों गर्मी अपने रिकॉर्ड तोड़ रही है. ऐसे में राजस्थान के अलवर में भगवान को गर्मी से बचाने के लिए जहां कई तरह के उपाय किए जा रहे हैं. मंदिरों में कूलर और एसी लगाए गए हैं. वहीं, भगवान के डाइट चार्ट में बदलाव कर दिया गया है. मंदिरों में भगवान को अब रबड़ी, छाछ और ठंडाई का भोग लग रहा है.
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