
243 सीटों पर महागठबंधन के 254 उम्मीदवार, NDA को घेरने में तेजस्वी कहीं खुद तो नहीं फंस गए?
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बिहार विधानसभा चुनाव में एनडीए पूरी मजबूती के साथ मैदान में है तो महागठबंधन की गांठ सुलझने का नाम नहीं ले रही है. महागठबंधन में सीट शेयरिंग का औपचारिक ऐलान नहीं हो सका, जिसके चलते कई सीटों पर महागठबंधन के उम्मीदवार आपस में ही टकरा रहे हैं.
बिहार विधानसभा चुनाव की नामांकन प्रक्रिया खत्म होते ही सियासी तस्वीर साफ होने लगी है. एनडीए को सत्ता से बेदखल करने उतरी महागठबंधन के सहयोगी दलों के बीच सीट शेयरिंग पर सहमति नहीं बन पाई. इस तरह सीट शेयरिंग फॉर्मूले की औपचारिक घोषणा नहीं हुई, लेकिन नामांकन समाप्त होते ही यह बात साफ हो गई कि कौन कितनी सीट पर किस्मत आजमा रहा है.
महागठबंधन में कई दिनों तक चली खींचतान और दावों के बावजूद सीटों के बंटवारे का फैसला नहीं हो पाया. नामांकन खत्म होने के बाद यह बात साफ हो गई है कि महागठबंधन में सबसे ज्यादा सीटों पर आरजेडी चुनाव लड़ रही है, जबकि कांग्रेस पिछली बार से 9 सीटें कम पर किस्मत आजमा रही है.
बिहार चुनाव के नामांकन खत्म होने के बाद सामने जो तस्वीर आई है, उसमें प्रदेश की कुल 243 विधानसभा सीटों पर महागठबंधन की तरफ से 254 उम्मीदवार मैदान में हैं. इस तरह 11 सीटों पर महागठबंधन की तरफ से दो-दो उम्मीदवारों ने ताल ठोक रखी है. ऐसे में एनडीए को घेरने के प्लान में कहीं तेजस्वी यादव खुद तो नहीं फंस गए हैं?
महागठबंधन में सीट शेयरिंग का फॉर्मूला
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