
'मेरी मौत की जिम्मेदार मेरी पत्नी' ताबूत पर लिखवाया... दहला देगी हुबली के 'अतुल सुभाष' की कहानी
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हुबली में एक कॉफिन तैयार किया गया. कॉफिन यानि ताबूत. आखिरी रस्म के तहत कॉफिन के अंदर फूल डाले गए. और थोड़ी देर बाद उसी कॉफिन में 40 साल के पीटर को आखिरी विदाई दी गई. इससे पहले पीटर की लाश एक शीशे के बॉक्स में बंद थी.
Peter Suicide Case: ठीक 51 दिन पहले बेंगलुरु में रहने वाले इंजीनियर अतुल सुभाष ने खुदकुशी कर ली थी. सुसाइड से पहले अतुल ने एक वीडियो बनाकर अपनी मौत के लिए अपनी बीवी और उसके घरवालों को जिम्मेदार ठहराया था. साथ ही उसने अपना एक आखिरी ख्वाहिश भी जाहिर की थी. अब अतुल की मौत के 51 दिनों बाद कर्नाटक के ही हुबली शहर में पीटर नाम के एक नौजवान ने खुदकुशी कर ली. पीटर ने भी अपनी मौत के लिए अपनी पत्नि को जिम्मेदार ठहराया है. और साथ ही अपने ताबूत पर एक लाइन भी लिखवाई. ये एक पीड़ित पति की ये कहानी आपको सकते में डाल देगी.
हुबली का 'अतुल सुभाष' हुबली में एक कॉफिन तैयार किया गया. कॉफिन यानि ताबूत. आखिरी रस्म के तहत कॉफिन के अंदर फूल डाले गए. और थोड़ी देर बाद उसी कॉफिन में 40 साल के पीटर को आखिरी विदाई दी गई. इससे पहले पीटर की लाश एक शीशे के बॉक्स में बंद थी. लेकिन ताबूत तैयार हो जाने के बाद पीटर की लाश को उस ताबूत में डाल दिया गया. ताबूत अब पूरी तरह से तैयार था.
ताबूत पर लिखी मौत की वजह पीटर उस ताबूत में हमेशा हमेशा के लिए बंद हो चुका था. अब उसी ताबूत के साथ उसे कब्रिस्तान ले जाया गया. मगर ताबूत को गौर से देखने पर पता चला कि उसके ऊपर कन्नड़ में कुछ लिखा है. बीच में 'रेस्ट इन पीस' लिखा था. लेकिन इस ताबूत के निचले हिस्से में जो लिखा है, वो शायद इससे पहले दुनिया के किसी भी ताबूत या कॉफिन में नहीं लिखा गया.
अंग्रेजी में लिखी थी लाइन असल में ताबूत के ऊपर जो कन्नड़ में लिखा है. वहीं लाइन नीचे अंग्रेजी में लिखी है. अब इसे पूरा पढ़िए- MY DEATH IS BECAUSE OF MY WIFE'S TORTURE यानि मेरी बीवी के जुल्म की वजह से मेरी मौत हुई है.
अजीब आखिरी ख्वाहिश दरअसल, ये पीटर की ही आखिरी ख्वाहिश थी कि उसकी मौत के बाद जब उसे ताबूत में बंद किया जाए तो उस ताबूत के ऊपर यही लाइन लिखी जाए. ताबूत के साथ एक क्रॉस भी रखा था. उस क्रॉस पर भी यही लिखा था. क्रॉस के ऊपर RIP और नीचे पीटर का पूरा नाम और साथ ही पैदा होने और मरने की तारीख लिखी थी और नीचे वही लाइन- MY DEATH IS BECAUSE OF MY WIFE'S TORTURE.
ख्वाहिश के हिसाब से दफनाया सारी तैयारी पूरी होने के बाद अब पीटर के ताबूत को इलाके के कब्रिस्तान में ले जाया गया. इसके बाद कब्र में, इसी ताबूत के साथ उसे दफना दिया गया. यानि पीटर उस ताबूत के साथ दुनिया से विदा लेता है, जिसके ऊपर उसकी आखिरी ख्वाहिश के हिसाब से ये लाइन लिखी गई थी- MY DEATH IS BECAUSE OF MY WIFE'S TORTURE.

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