Delhi News: विधानसभा के फांसी घर में बनेगा स्वतंत्रता सेनानियों का मंदिर, पर्यटक देख सकेंगे ऐतिहासिक सुरंग
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Delhi News: राम निवास गोयल ने बताया कि सुरंग के तीन रास्ते हैं एक लाल किले की ओर से आ रहा है, दूसरा फांसी घर की ओर जा रहा है और एक रास्ता मंच की ओर जा रहा है
Delhi News: दिल्ली में आज जिस विधानसभा परिसर में सदन चलता है उसी इमारत में अंग्रेजों के समय में अदालत चलती थी. दिल्ली की इस ऐतिहासिक विरासत में आज़ादी की शौर्य गाथाएं मौजूद हैं और कई रहस्य भी बन्द हैं. इन शौर्य गाथाओं को अब आम लोगों तक पहुंचाया जाएगा. विधानसभा सत्र के दौरान जिस सदन में कार्यवाही की तस्वीरें हम सभी ने देखीं हैं उसी सदन में एक सुरंग भी मौजूद है जो लाल किले तक जाती है. इस सुरंग का इस्तेमाल लाल किले में कैद क्रांतिकारियों को लाने-ले जाने के लिए किया जाता था. और इसी विधानसभा में मौजूद है एक फांसी घर जहां आज़ादी की लड़ाई लड़ने वाले क्रांतिकारियों को फांसी दी जाती थी. अब इन दोनों ही जगहों को आम लोगों के लिए पर्यटन स्थल में तब्दील करने का काम किया जा रहा है. ब्रिटिश काल मे 1912 में कलकत्ता की जगह दिल्ली को राजधानी बनाया गया. दिल्ली जब राजधानी बनी तब विधानसभा की मौजूदा इमारत में सरकार चलती थी. उस वक्त इसको सेंट्रल लेजिसलेटिव असेंबली बोलते थे. विधानसभा अध्यक्ष रामनिवास गोयल के मुताबिक उस समय अंग्रेजों की मेजॉरिटी होती थी, उनके द्वारा मेंबर्स अपॉइंट किए जाते थे. कांग्रेस होती थी, हमारे जो लोग चुनकर आते थे वह यहां असेंबली हॉल में बैठते थे. जवाहरलाल नेहरू, लाला लाजपत राय, भीमराव अंबेडकर सब यहां बैठते थे.More Related News