![सलमान खान को पत्थर से मारने पर कांपने लगे थे बॉक्सर के हाथ, 20 रीटेक के बाद पूरा हुआ सीन](https://akm-img-a-in.tosshub.com/aajtak/images/story/202307/vijendra-sixteen_nine.jpg)
सलमान खान को पत्थर से मारने पर कांपने लगे थे बॉक्सर के हाथ, 20 रीटेक के बाद पूरा हुआ सीन
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विजेंद्र सिंह बॉक्सिंग के साथ-साथ एक्टिंग में भी सक्रिय हैं. विजेंद्र हाल ही में किसी का भाई किसी की जान में नजर आए थे. फिल्म अब जी5 ओटीटी पर रिलीज की जा रही है. विजेंद्र ने हमसे एक्सक्लूसिव बातचीत की है.
बॉक्सर विजेंद्र सिंह ने स्पोर्ट्स और एंटरटेनमेंट के बीच बखूबी बैलेंस बनाकर रखा है. विजेंद्र हाल ही में सलमान खान की मल्टीस्टारर फिल्म किसी का भाई किसी की जान में नजर आए थे. एंटी हीरो के किरदार में विजेंद्र का काम कमाल का रहा. थिएटर से निकलने के बाद अब फिल्म ओटीटी के जी5 पर प्रीमियर होने वाली है. इसी मौके पर विजेंद्र ने हमसे फिल्म की शूटिंग से जुड़ीं यादें शेयर की हैं.
मैं खुश हूं किसी का भाई किसी की जान ओटीटी पर रिलीज हो रही है. ओटीटी कंटेंट का लुत्फ कहीं भी बैठकर उठा सकते हैं. सलमान भाई के साथ काम करने का एक्सपीरियंस बेहतरीन था. उनके साथ काम स्मूथ होता था. सब चीजें वक्त पर ही होती थीं. अगर उन्होंने 10 बजे का वक्त दे दिया है, तो शूटिंग भी उतने ही बजे शुरू होनी है. शूट खत्म होते ही हम एक साथ वर्कआउट ट्रेनिंग किया करते थे. डायट चार्ट की शेयरिंग भी होती थी. एक और बात लोगों ने उनके ऐब्स के बारे में भी कहा है कि वो फेक हैं. मैंने पंच मारे हैं उस ऐब्स पर, जो पूरी तरह से असली हैं.
फिल्म का क्लाइमैक्स मेरे लिए शूट करना बड़ा मुश्किल था. सीन कुछ यूं था कि मुझे सलमान खान के सिर पर तीन-चार बार पत्थर से वार करना था. मेरे लिए बड़ा मुश्किल था यह टास्क, मैं सलमान खान को 2008 से जानता हूं. वो सीन करने के दौरान मैं बहुत हिचक में था. सलमान खान को आखिरकार बोलना पड़ा कि भाई थोड़ा जोर से भी मार सकता है. वो सीन हम मुंबई के सेट पर शूट कर रहे थे. बॉम्बे की गर्मी बहुत ज्यादा होती है, सुबह के 11 बजे से ही शूटिंग शुरू हुई थी. मैंने उस सीन के लिए लगभग 20 रीटेक्स दिए थे. सेट पर खड़े सभी प्रोडक्शन वाले भी मेरे रीटेक्स और गर्मी से इरीटेट नजर आ रहे थे. सब मुझसे बड़े परेशान हो गए थे. मैं डर रहा था कि कहीं सच में पत्थर लग जाए, तो मेरे लिए मुसीबत खड़ी न हो जाए.
एक्टिंग एक ऐसा समंदर है कि आप जितना डूबते जाएंगे, उतना ऊपर उठोगे. हमें हीरो और एक्टर के बीच के डिफरेंस को समझना चाहिए. गुड लुकिंग लड़का एक बेहतरीन एक्टर हो, ये जरूरी नहीं है. मुझे एक्टिंग पसंद है. मेरी जो बाउंड्रीज है, मैं उससे आगे बढ़कर अपने इस टैलेंट को एक्सप्लोर करना चाहता हूं.
स्पोर्ट्स और एक्टिंग के बीच बैलेंस कर रहे विजेंद्र बॉक्सिंग को ही अपना पहला प्यार मानते हैं. बकौल विजेंद्र, बॉक्सिंग तो मेरा पहला प्यार है और हमेशा से रहेगा. बॉक्सिंग ने ही मुझे दौलत और शौहरत दिया है. मैं उसे कैसे छोड़ सकता हूं. हां, एक्टिंग से मुझे प्यार हो रहा है, लेकिन प्राथमिकता हमेशा से मेरी बॉक्सिंग रहेगी.