
लोकसभा में श्वेत पत्र पेश, UPA के आर्थिक कुप्रबंधन पर चर्चा करेगी मोदी सरकार
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लोकसभा में UPA सरकार के खिलाफ श्वेत पत्र लाई मोदी सरकार
मोदी सरकार की तरफ से लोकसभा में श्वेत पत्र पेश कर दिया गया है. NDA सरकार की तरफ से वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने श्वेत पत्र पेश किया. सरकार ये श्वेत पत्र यूपीए सरकार के दौरान कथित आर्थिक कुप्रबंधन के खिलाफ लेकर आई है. बता दें कि इसके विरोध में कांग्रेस 'ब्लेक पेपर' लाने का मन बना चुकी है.
सबसे पहले जानिए मोदी सरकार 'श्वेत पत्र' क्यों लेकर आई है. बताया गया है कि इसके जरिए सांसदों को बताया जाएगा कि साल 2014 से पहले (मोदी सरकार बनने से पहले) देश के सामने किस तरह के शासन, आर्थिक और राजकोषीय संकट थे. इसके अलावा सांसदों को जनता को ये बताया जाएगा कि आर्थिक स्थिति में सुधार के लिए मोदी सरकार ने क्या कदम उठाए हैं.
श्वेत पत्र में क्या-क्या लिखा है?- श्वेत पत्र में कहा गया है कि UPA सरकार ने देश की आर्थिक नींव कमजोर की. - UPA काल में रुपये में भारी गिरावट हुई - बैंकिंग सेक्टर संकट में था - बैंकिंग सेक्टर संकट में था - विदेशी मुद्रा भंडार में कमी हुई थी - भारी कर्ज लिया गया था - राजस्व का गलत इस्तेमाल हुआ
बता दें कि वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपने अंतरिम बजट भाषण के दौरान भी इस संबंध में घोषणा की थी. उन्होंने कहा था कि सरकार एक श्वेत पत्र पेश करेगी, जो यूपीए दशक और एनडीए दशक को कवर करेगा. इसमें यूपीए शासन के वित्तीय कुप्रबंधन और एनडीए शासन की वित्तीय समझदारी को दिखाने के लिए एक तुलनात्मक विश्लेषण होगा.
कांग्रेस के 'ब्लैक पेपर' पर पीएम मोदी का तंज!
बता दें कि श्वेत पत्र के खिलाफ कांग्रेस ने ब्लैक पेपर लाने की बात कही है. इसपर पीएम मोदी ने राज्यसभा में निशाना साधा. पीएम ने कहा, 'काले कपड़ों में सदन को फैशन शो देखने का भी मौका मिला. कभी कभी कुछ काम इतने अच्छे होते हैं जो लंबे समय तक उपयोगी होते हैं. हमारे यहां कुछ अच्छी चीज कर लेते हैं तो परिवार में एक स्वजन ऐसा भी आ जाता है जो कहता है कि अरे नजर लग जाएगी काला टीका लगा देता हूं. आज पिछले 10 वर्षों में जो काम हुए हैं उसको किसकी नजर ना लग जाए इसलिए आज खड़गे जी काला टीका लगाकर आए हैं. आज हमारे कार्यों को नजर ना लग जाए इसलिए आप जैसे वरिष्ठ सांसद काला टीका लगाकर आए हैं तो ये अच्छी बात है.'

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