
पेट्रोल बम अटैक के बाद देर रात ढाका यूनिवर्सिटी में तोड़फोड़... बांग्लादेश में थम नहीं रहा बवाल
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बांग्लादेश में बुधवार को ये दो बड़ी घटनाएं ऐसे समय पर हुई हैं, जब पूर्व प्रधानमंत्री खालिदा जिया का बेटा तारिक रहमान गुरुवार को बांग्लादेश लौट रहा है. रहमान 15 वर्षों से लंदन में रह रहा था.
बांग्लादेश हिंसा की आग में धधक रहा है. अगस्त 2024 में शेख हसीना के तख्तापलट के बाद से देश में बवाल थम नहीं रहा. इस बीच बुधवार देर रात ढाका यूनिवर्सिटी में तोड़फोड़ की गई. इससे पहले पेट्रोल बम के हमले में एक शख्स की मौत हुई थी, जिससे दहशत फैल गई थी.
ढाका यूनिवर्सिटी की मधुर कैंटीन में बुधवार को तोड़फोड़ का मामला सामने आया. काजी नजरुल इस्लाम का नारा लगा रहे एक शख्स ने कैंटीन में तोड़फोड़ करनी शुरू कर दी.
लेकिन इस बीच ढाका यूनिवर्सिटी के सुरक्षाकर्मियों ने उस शक्स को पकड़कर पुलिस को सौंप दिया. मधुर कैंटीन की शुरुआत 1921 में मधुसूदन डे ने ढाका यूनिवर्सिटी में की थी. यह कैंटीन बाद में भाषा आंदोलनों और 1971 के लिबरेशन वॉर का केंद्र बन गई. मार्च 1971 में ‘ऑपरेशन सर्चलाइट’ के दौरान पाकिस्तानी सेना ने मधुसूदन डे की हत्या कर दी थी. तब से यह कैंटीन बांग्लादेश के आंदोलन, राष्ट्रीय इतिहास और विरासत का प्रतीक बनी हुई है.
बता दें कि मधु कैंटीन भाषा आंदोलन, जनआंदोलन और मुक्ति संग्राम की जीवंत स्मृति के रूप में जानी जाती है. इससे पहले बुधवार शआमको राजधानी ढाका के मोघबाजार में शरारती तत्वों ने पेट्रोल बम से धमाका किया, जिसमें एक शख्स की मौत हो गई, जिसका नाम सैफुल सियाम बताया गया.
प्रत्यक्षदर्शियों का कहना है कि बम फ्लाईओवर से फेंका गया, जिसमें शख्स की मौत हो गई. ढाका मेट्रोपॉलिटन पुलिस के डिप्टी कमिश्नर मसूद आलम ने बताया कि शुरुआती जांच से पता चला है कि फ्लाईओवर से बम फेंका गया. अभी तक इस हमले के पीछे की मंशा का पता नहीं चल पाया है. लगता है कि यह बम सीधे सैफुल पर जाकर गिरा, जिससे मौके पर ही उसकी मौत हो गई.सीसीटीवी फुटेज खंघाले जा रहे हैं ताकि दोषियों की पहचान हो सके.
घटनास्थल के पास सड़क किनारे चाय बेचने वाले फारुक ने बताया कि सैफुल सियाम उसके पास चाय पीने आया था. मैं कप धोने जा रहा था कि तभी जोर का धमाका हुआ. मैंने देखा सैफुल जमीन पर गिरा पड़ा है. उसके सिर से खून बह रहा था. उसके सिर के चिथड़े उड़ गए थे.

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