राजस्थान: अस्पताल के बाहर बहन ने तोड़ा दम, भाई भर्ती कराने के लिए गिड़गिड़ाता रहा
AajTak
बहन की सांसें फूल रही थीं, वो तड़प रही थी ऑक्सीजन सपोर्ट के लिए, जो इसके लिए संजीवनी बन सकती थी. जैसे-तैसे ये भाई अपनी बहन को लेकर शहर के सवाई मानसिंह अस्पताल तक पहुंच गया. लेकिन इसे वहां मौजूद पुलिस वालों ने अंदर नहीं जाने दिया.
एक भाई के सामने बहन ने तड़प-तड़प कर दम तोड़ दिया और वो चाहकर भी कुछ ना कर सका. इस भाई ने पूरी कोशिश की थी कि अपनी बहन की जान किसी भी तरह से बचा ले. वह भाई, बीमार बहन को ऑटो में बिठाकर जयपुर के कई अस्पतालों के चक्कर लगाता रहा. लेकिन हर जगह से बस यही जवाब मिला कि बेड खाली नहीं है. ऑक्सीजन भी खत्म हो गई है, लेकिन एक भाई अपनी बहन को यूं मरता कैसे छोड़ देता. बहन की सांसें फूल रही थीं, वो तड़प रही थी, ऑक्सीजन सपोर्ट के लिए, जो इसके लिए संजीवनी बन सकती थी. जैसे-तैसे ये भाई अपनी बहन को लेकर शहर के सवाई मानसिंह अस्पताल तक पहुंच गया. लेकिन इसे वहां मौजूद पुलिस वालों ने अंदर नहीं जाने दिया. अधमरी हालत में महिला हाथ जोड़कर सबसे विनती करती रही कि उसे कोई तो ऑक्सीजन दे दे. हालांकि व्हील चेयर पर आ चुका सरकारी सिस्टम, बहरा होने के साथ ही अंधा भी हो चुका था. ये महिला अस्पताल के बाहर ही तड़प-तड़पकर मर गई, लेकिन इसे ऑक्सीन नहीं दी गई.More Related News
एक अधिकारी ने बताया कि यह घटना आइजोल शहर के दक्षिणी बाहरी इलाके में मेल्थम और ह्लिमेन के बीच के इलाके में सुबह करीब छह बजे हुई. रिपोर्ट में कहा गया है कि भूस्खलन के प्रभाव के कारण कई घर और श्रमिक शिविर ढह गए, जिसके मलबे के नीचे कम से कम 21 लोग दब गए. अब तक 13 शव बरामद किए जा चुके हैं और आठ लोग अभी भी लापता हैं.