मोबाइल देने से इनकार किया तो छोटे भाई को गला घोंटकर मार डाला
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महाराष्ट्र के नांदेड़ में मोबाइल के इस्तेमाल को लेकर दो सगे भाइयों के बीच बहस हो गई. इस दौरान बड़े भाई ने छोटे भाई की गला दबाकर कर दी हत्या. घटना के बाद परिवार में हड़कंप मच गया. पुलिस ने बड़े भाई के खिलाफ केस दर्ज मामले की जांच शुरू कर दी है.
महाराष्ट्र के नांदेड़ में मोबाइल के इस्तेमाल को लेकर दो भाइयों में बहस हो गई. बहस इतनी बढ़ गई कि बड़े भाई ने अपने छोटे भाई की गला दबाकर हत्या कर दी. यह घटना देर रात नांदेड़ शहर से करीब गोपालचावडी में हुई. इस मामले में ग्रामीण पुलिस थाने में बड़े भाई पर हत्या का केस दर्ज किया गया है. घटना से परिवार में हड़कंप मच गया है.
जानकारी के अनुसार, गोपालचावड़ी नांदेड़ शहर से कुछ दूरी पर एक छोटा सा गांव है. यहां एक परिवार में दो भाइयों के बीच रविवार देर रात मोबाइल को लेकर बहस हो गई. बड़ा भाई छोटे भाई से अपना मोबाइल फोन इस्तेमाल करने के लिए मांग रहा था, लेकिन छोटे ने मोबाइल फोन देने से इनकार कर दिया. इसी बात को लेकर दोनों में हाथापाई हो गई. दोनों भाइयों में जमकर मारपीट भी हुई.
घटना की जानकारी मिलते ही पहुंची पुलिस टीम
इस दौरान गुस्साए बड़े भाई ने 20 वर्षीय अर्जुन की साड़ी से गला घोंटकर हत्या कर दी. इस घटना की जानकारी मिलते ही पुलिस निरीक्षक अशोक घोरबांड, सहायक पुलिस निरीक्षक सुरेश थोरात और अन्य अधिकारियों ने घटनास्थल पर जाकर निरीक्षण किया. ग्रामीण पुलिस ने मृतक अर्जुन के चाचा लक्ष्मण मालोजी वाघमारे की शिकायत पर बडे भाई करण के खिलाफ केस दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया. पुलिस ने हत्या का मामला दर्ज किया है. इस केस जांच पुलिस उपनिरीक्षक विजय पाटिल को सौंपी गई है.
मामले को लेकर क्या बोले पुलिस इंस्पेक्टर?
पुलिस निरीक्षक अशोक घोरबांड ने कहा कि वर्तमान समय में बहुत से युवाओं को मोबाइल की लत हो गई है. भले ही सोशल मीडिया पर मोबाइल फोन के दुष्प्रभावों को लेकर नियमित चर्चा होती रहती है, लेकिन युवा मोबाइल के आदी हैं. हाल के दिनों में देखा जा सकता है कि ऑनलाइन गेम्स को लेकर काफी घटनाएं सामने आ रही हैं. मोबाइल विवाद का कारण बनते हैं.
हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा के अध्यक्ष और अपनी पार्टी के इकलौते सांसद जीतन राम मांझी भी मोदी सरकार में मंत्री बन गए हैं. 44 सालों के पॉलिटिकल करियर में मांझी राज्य सरकार में कई बार मंत्री बन चुके हैं लेकिन पहली बार वो मोदी सरकार में मिनिस्टर बने हैं. मांझी ने एनडीए उम्मीदवार के तौर पर इस बार गया (रिजर्व सीट) से चुनाव लड़ा था और भारी मतों के अंतर से चुनाव जीता था.