
मुंबई: पूर्व विधायक के होटल के अवैध हिस्से पर चलेगा बुलडोजर, हाई कोर्ट ने दिया आदेश
AajTak
बॉम्बे हाई कोर्ट में दायर की गई याचिका में कहा गया था कि बीजेपी के पूर्व विधायक नरेंद्र मेहता को अनुमति देने का सरकारी आदेश, कानून के जनादेश के विपरीत और बड़े पैमाने पर जनता के हित के खिलाफ था. याचिकाकर्ता ने मेहता द्वारा प्लॉट पर बनाए गए निर्माण को गिराने की अपील की थी.
बॉम्बे हाई कोर्ट ने एक होटल के अवैध हिस्से को गिराने का आदेश दिया है. इस होटल को बीजेपी के पूर्व विधायक का बताया जा रहा है. मुख्य न्यायाधीश दीपांकर दत्ता की अध्यक्षता वाली बेंच ने इसे गिराने के लिए दो महीने का समय दिया है. याचिका में कहा गया था कि नगर निगम से अवैध निर्माण के लिए बीजेपी विधायक ने अपने राजनीतिक प्रभाव का उपयोग किया था.
बॉम्बे हाई कोर्ट में दायर की गई याचिका में कहा गया था कि बीजेपी के पूर्व विधायक नरेंद्र मेहता को अनुमति देने का सरकारी आदेश, कानून के जनादेश के विपरीत और बड़े पैमाने पर जनता के हित के खिलाफ था. याचिकाकर्ता ने मेहता द्वारा प्लॉट पर बनाए गए निर्माण को गिराने की भी अपील की थी. फैयाज मुल्लाजी ने ये याचिका दायर की थी, उन्होंने कहा था कि वो पर्यावरण के मुद्दे पर एनजीओ के साथ काम कर चुके हैं. उन्होंने मेहता की कंपनी को राज्य और मीरा भायंदर नगर निगम की अनुमति को चुनौती दी थी.
याचिका में कहा गया था कि निगम ने मेहता को एक होटल बनाने की इजाजत दी थी जो कि नो डेवलेपमेंट जोन में था. याचिकाकर्ता के अनुसार, यह मीरा भायंदर ऑपरेशन के लिए विकास नियंत्रण कानून की अवहेलना है. याचिकाकर्ता के मुताबिक, कंपनी ने 2015 से पहले मीरा भायंदर रोड स्थित गांव नवघर में होटल निर्माण का प्रस्ताव पेश किया था.
2015-17 में मिली थी अनुमति
मीरा भायंदर नगर निगम और नगर नियोजन विभाग के सहायक निदेशक ने 2015-2017 के बीच मेहता की कंपनी सेवन इलेवन होटल्स प्राइवेट लिमिटेड को होटल बनाने की इजाजत दी थी. उन्होंने साल 2018 में अतिरिक्त एफएसआई भी प्रीमियम चार्ज करके प्रदान किया गया था.
याचिकाकर्ता ने कहा कि कई नोटिस और कार्रवाई के बाद भी अधिकारियों ने अनुमति वापस नहीं ली और इसीलिए एक जनहित याचिका में अदालत का दरवाजा खटखटाया गया. गुरुवार को कोर्ट ने सिर्फ इतना कहा था कि वह याचिका को अनुमति दे रही है, विस्तृत आदेश कारणों सहित बाद में कोर्ट द्वारा उपलब्ध कराया जाएगा.

आज रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ शिखर वार्ता के मौके पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत–रूस मित्रता एक ध्रुव तारे की तरह बनी रही है. यानी दोनों देशों का संबंध एक ऐसा अटल सत्य है, जिसकी स्थिति नहीं बदलती. सवाल ये है कि क्या पुतिन का ये भारत दौरा भारत-रूस संबंधों में मील का पत्थर साबित होने जा रहा है? क्या कच्चे तेल जैसे मसलों पर किसी दबाव में नहीं आने का दो टूक संकेत आज मिल गया? देखें हल्ला बोल.

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मंदिर में जमा पैसा देवता की संपत्ति है और इसे आर्थिक संकट से जूझ रहे सहकारी बैंकों को बचाने के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता. कोर्ट ने केरल हाई कोर्ट के उस आदेश को बरकरार रखा, जिसमें थिरुनेल्ली मंदिर देवस्वोम की फिक्स्ड डिपॉजिट राशि वापस करने के निर्देश दिए गए थे. कोर्ट ने बैंकों की याचिकाएं खारिज कर दीं.

देश की किफायत विमानन कंपनी इंडिगो का ऑपरेशनल संकट जारी है. इंडिगो को पायलट्स के लिए आए नए फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिटेशन (FDTL) नियमों को लागू करने में भारी दिक्कत आ रही है. इस बीच आज इंडिगो की 1000 से ज्यादा फ्लाइट्स कैंसिल हो गई है, जिस पर कंपनी के सीईओ का पहला बयान सामने आया है. इंडिगो के सीईओ पीटर एल्बर्स ने इंडिगो ऑपरेशनल संकट पर पहली बार बयान देते हुए कहा कि पिछले कुछ दिनों से विमानन कंपनी के कामकाज में दिक्कतें आ रही हैं. कंपनी का कामकाज पांच दिसंबर को सबसे अधिक प्रभावित हुआ है. आज 100 से ज्यादा फ्लाइट्स कैंसिल हुई हैं.

संसद के शीतकालीन सत्र में 8 और 9 दिसंबर 2025 को राष्ट्रगीत वंदे मातरम् पर दोनों सदनों में विशेष चर्चा होगी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय मंत्री इस चर्चा को संबोधित करेंगे. चर्चा का उद्देश्य वंदे मातरम् के स्वतंत्रता संग्राम में योगदान, ऐतिहासिक महत्व और वर्तमान प्रासंगिकता को उजागर करना है.

भारत-रूस बिजनेस फोरम में पीएम मोदी ने कहा कि भारत और रूस के बीच संबंध मजबूत हो रहे हैं और दोनों देशों ने द्विपक्षीय व्यापार को बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण लक्ष्यों को निर्धारित किया है. राष्ट्रपति पुतिन के साथ चर्चा में यह स्पष्ट हुआ कि व्यापार लक्ष्य समय से पहले पूरा किया जाएगा. कई क्षेत्रों जैसे लॉजिस्टिक्स, कनेक्टिविटी, मरीन प्रोडक्ट्स, ऑटोमोबाइल, फार्मा, और टेक्सटाइल में सहयोग को आगे बढ़ाया जा रहा है.

जम्मू-कश्मीर के 711 अग्निवीर आज भारतीय सेना का हिस्सा बन गए हैं. श्रीनगर स्थित जम्मू कश्मीर लाइट इन्फैंट्री रेजिमेंट सेंटर में इन्हें कठोर प्रशिक्षण दिया गया, जिसके बाद ये अग्निवीर देश की सुरक्षा के लिए सीमाओं पर तैनात होंगे. इससे न केवल भारतीय सेना की क्षमता में वृद्धि हुई है, बल्कि क्षेत्रीय सुरक्षा भी मजबूत हुई है.







