'निष्पक्ष जांच हो और न्याय मिले...', स्वाति मालीवाल से मारपीट केस पर पहली बार बोले CM केजरीवाल
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आम आदमी पार्टी की राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल के साथ कथित मारपीट के मामले पर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को अपनी पहली प्रतिक्रिया दी. केजरीवाल ने कहा कि वह चाहते हैं कि मामले की निष्पक्ष हो और न्याय मिले.
आम आदमी पार्टी की राज्यसभा सांसद स्वाति मालीवाल के साथ कथित मारपीट के मामले पर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को अपनी पहली प्रतिक्रिया दी. केजरीवाल ने कहा कि वह चाहते हैं कि मामले की निष्पक्ष हो और न्याय मिले. वहीं स्वाति मालीवाल ने आरोप लगाते हुए केजरीवाल के बयान पर सवाल उठाए हैं.
स्वाति मालीवाल का आरोप है कि जब वह 13 मई को मुख्यमंत्री से मिलने उनके आधिकारिक आवास पर गई थीं तो केजरीवाल के निजी सचिव विभव कुमार ने उनके साथ मारपीट की थी. पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज कर विभव को गिरफ्तार कर लिया है. न्यूज एजेंसी पीटीआई से बात करते हुए केजरीवाल ने कहा, 'मामला फिलहाल विचाराधीन है और उनकी टिप्पणी से कार्यवाही प्रभावित हो सकती है.'
उन्होंने कहा, 'मुझे उम्मीद है कि मामले की निष्पक्ष जांच होगी. न्याय मिलना चाहिए. मामले के दो वर्जन हैं. पुलिस को दोनों वर्जन की निष्पक्ष जांच करनी चाहिए और न्याय होना चाहिए.' उनके पीए विभव कुमार इस मामले में फिलहाल पांच दिनों की पुलिस हिरासत में हैं. इससे पहले बुधवार को मालीवाल ने आरोप लगाया था कि पार्टी में हर किसी पर उन्हें बदनाम करने का 'बहुत दबाव' है.'
विभव कुमार को मंगलवार को उनके फोन से डेटा की खोज के लिए मुंबई ले जाया गया जिसे उन्होंने अपनी गिरफ्तारी से पहले कथित तौर पर फॉर्मेट कर दिया था. पुलिस को शक है कि उन्होंने अपने फोन का डेटा मुंबई में किसी व्यक्ति या डिवाइस को ट्रांसफर करने के बाद उसे फॉर्मेट कर दिया.
एक अधिकारी ने कहा कि विभव कुमार के फोन और लैपटॉप के साथ-साथ केजरीवाल के घर की सीसीटीवी रिकॉर्डिंग को फोरेंसिक जांच के लिए भेजा गया है. उन्होंने कहा कि चूंकि विभव की पुलिस हिरासत गुरुवार को खत्म हो रही है, जांचकर्ता मामले से संबंधित सभी सबूत इकट्ठा करने की कोशिश कर रहे हैं.
लगभग 37 लाख की आबादी वाले मणिपुर के इतिहास में कई घटनाएं हुई हैं. लेकिन पिछले 1 साल में मणिपुर में जो हुआ, इसकी कल्पना किसी ने भी नहीं की होगी. अदालत के एक आदेश के बाद 3 मई 2023 को मणिपुर की घाटी और पहाड़ों में रहने वाले 2 समुदायों के बीच ऐसी जंग छिड़ गई थी, जिसका अभी तक अंत नहीं हो सका है. इंफाल समेत पूरी घाटी में रहने वाले मैतेई बहुल इलाकों और घाटी के चारों तरफ पहाड़ों पर रहने वाले कुकी आदिवासी बहुल इलाकों के बीच एक अनकही खाई बन गई है.
डीजीपी ने कहा, 'जब आप किसी खतरे या चुनौती के बारे में बात करते हैं तो आप देखते हैं कि यह कितना गंभीर या बड़ा है. चुनौतियां सीमा पार से आ रही हैं और टेरर हैंडलर्स ने तय किया है कि वे इस तरह की आतंकी गतिविधियां को जारी रखेंगे. वे देख रहे हैं कि जम्मू-कश्मीर में आतंकवाद के दिन अब गिनती के रह गए हैं क्योंकि घाटी में आतंकी ढांचे को बड़ा झटका लगा है.'