इजरायल के साथ खड़े हुए ये दो मुस्लिम देश! बाकी इस्लामिक मुल्कों से क्यों ली अलग लाइन
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फिलीस्तीन और इजरायल के बीच बड़े पैमाने पर लड़ाई छिड़ गई है. हमास के हमले के बाद इजरायल गजा पट्टी पर ताबड़तोड़ हमले कर रहा है. इस लड़ाई को लेकर लगभग सभी मुस्लिम देशों की प्रतिक्रिया सामने आई है. इनमें सबसे चौंकाने वाली प्रतिक्रिया संयुक्त अरब अमीरात की है.
हमास और इजरायल के बीच छिड़ी जंग ने मध्य-पूर्व की कूटनीति में अचानक से बड़ा भूचाल ला दिया है. शनिवार से चल रही इस लड़ाई को लेकर लगभग सभी मुस्लिम देशों ने प्रतिक्रया दी है और लड़ाई के लिए इजरायल को जिम्मेदार ठहराया है. सऊदी, कतर, पाकिस्तान जैसे सभी मुस्लिम देशों ने इजरायल की निंदा करते हुए कहा है कि फिलिस्तीनियों के लिए अलग राज्य (टू नेशन सॉल्यूशन) की स्थापना होनी चाहिए. लेकिन मध्य-पूर्व के दो इस्लामिक देशों ने बाकी मुस्लिम देशों से अलग रुख अपनाया है.
अब तक जितने भी मुस्लिम देशों की प्रतिक्रिया सामने आई है, किसी ने भी इजरायल पर हमले के लिए हमास को निशाने पर नहीं लिया है लेकिन संयुक्त अरब अमीरात (UAE) और बहरीन ने हमास की निंदा कर सबको चौंका दिया है.
UAE, बहरीन समेत सभी मुस्लिम देश कभी इजरायल को मध्य-पूर्व में 'अछूत' की तरह देखते थे और उससे किसी तरह का रिश्ता नहीं रखा था. लेकिन अमेरिका की कोशिशों के परिणामस्वरूप सितंबर 2020 में यूएई और बहरीन ने इजरायल के साथ अब्राहम समझौता किया और उससे राजनयिक संबंध स्थापित कर लिए. यूएई और बहरीन इजरायल के साथ संबंध स्थापित करने वाले पहले अरब देशों में शामिल हैं.
राजनयिक संबंध स्थापना के तीन सालों बाद अब जब हमास और इजरायल के बीच जंग छिड़ गई है तब इन दोनों ही देशों का रुख बाकी अरब देशों से अलग नजर आ रहा है. इन देशों के आधिकारिक बयान से संकेत मिलता है कि इस बार हमास के हमले को लेकर ये इजरायल के समर्थन में खड़े हैं.
यूएई ने बाकी मुस्लिम देशों से ली अलग लाइन
इजरायल फिलिस्तीन लड़ाई को लेकर यूएई ने जो कहा है, उससे स्पष्ट संकेत मिलता है कि इजरायल को लेकर इस्लामिक देश के रुख में बड़ा बदलाव आया है.
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