
ISI की यूज एंड थ्रो पॉलिसी! खालिस्तानी निज्जर की हत्या के बाद खौफ में दाऊद और हाफिज सईद
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पाकिस्तान और अन्य देशों में आतंकियों की हत्याओं को लेकर बड़े आतंकी डरे हुए हैं. दरअसल बीते तीन महीने में पांच आतंकियों की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत या हत्या हो चुकी है. इन हत्या-मौतों की फेहरिस्त में 26/11 का मास्टरमाइंड हिजबुल आतंकी, खालिस्तानी आतंकी और कनाडा में बैठा SFJ का आतंकी हरदीप निज्जर शामिल है.
पाकिस्तान समर्थित आतंकी चाहे कश्मीरी मूल के हों या फिर खालिस्तानी, इस समय काफी डरे हुए हैं कि पाक की खुफिया एजेंसी ISI कहीं दूसरे आतंकियों की तरह यूज एंड थ्रो पॉलिसी के तहत षड़यंत्र रचकर मरवा न दे. यही वजह है कि डर की वजह से बहुत से मोस्ट वांटेड आतंकी अपने घरों में दुबके हुए हैं और वो किसी भी तरीके से बाहर नहीं निकल रहे हैं.
खुफिया एजेंसियों के सूत्रों ने आज़तक को बताया है कि पाकिस्तान और उसके समर्थन से विदेशों में बैठकर भारत के खिलाफ साजिश रचने वाले आतंकी डरे हुए हैं. यही नहीं खुफिया सूत्रों ने बताया कि पाकिस्तान में छिपे आतंकी जो अब उसके किसी काम के नहीं रह गए हैं, उन्हे यूज एंड थ्रो पॉलिसी के तहत मार दिया जा रहा है.
बीते तीन महीने में ऐसे पांच आतंकियों की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत या हत्या हो चुकी है. इन हत्या-मौतों की फेहरिस्त में 26/11 का मास्टरमाइंड हिजबुल आतंकी, खालिस्तानी आतंकी और कनाडा में बैठा SFJ का आतंकी हरदीप निज्जर शामिल हैं. हालांकि भारतीय एजेंसियों ने अभी हरदीप सिंह निज्जर के मारे जाने की आधिकारिक पुष्टि नहीं की है. हालांकि सूत्रों के मुताबिक कनाडा के एक गुरुद्वारे में निज्जर को संदिग्ध परिस्थितियों मार दिया गया है.
कौन है हरदीप सिंह निज्जर ?
खुफिया एजेंसी सूत्रों के मुताबिक, निज्जर बीते कई सालों से कनाडा में रह रहा था और वहां से भारत के खिलाफ खालिस्तानी आतंकवाद को हवा दे रहा था. खुफिया सूत्रों के मुताबिक, निज्जर भारतीय जांच एजेंसियों के लिए पिछले एक साल में इसलिए और भी ज्यादा बड़ा सिरदर्द बन गया था क्योंकि उसने लॉरेंस बिश्नोई गैंग के गुर्गों को विदेशों में लॉजिस्टिक और पैसा मुहैया करवाना शुरू कर दिया था. भारत सरकार ने हरदीप सिंह निज्जर को डेजिग्नेटिड टेरेरिस्ट यानी आतंकवादी घोषित किया था कुछ दिनों पहले और NIA ने 10 लाख का इनाम भी घोषित किया था. निज्जर के दो सहयोगियों को फिलीपींस और मलेशिया से कुछ महीनों पहले सुरक्षा एजेंसियों ने गिरफ्तार किया गया था.
ISI की यूज एंड थ्रो पॉलिसी में कौन-कौन आतंकी मारे गए?

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