देश में बढ़ रहे हैं ब्लैक फंगस के मामले, कई राज्यों में अभी से एंफोटेरिसिन बी दवा की शॉर्टेज
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लखनऊ केमिस्ट एसोसिएशन के प्रवक्ता मयंक रस्तोगी ने आजतक से बात करते हुए कहा कि पिछले सप्ताह तक यह इंजेक्शन मार्केट में आसानी से उपलब्ध थी. लेकिन अब यह लगभग सभी स्टोर्स पर मौजूद नहीं है. पहले सिर्फ तीन से चार लोग ही एंफोटेरिसिन बी लेने आते थे. लेकिन अब इसकी डिमांड आसमान छू रही है.
ब्लैक फंगस या म्यूकोरमायकोसिस अलग अलग राज्यों में अपना जाल फैला रहा है. इस वजह से इसके इलाज में काम आने वाला महत्वपूर्ण दवाई एंफोटेरिसिन बी की मार्केट में कमी भी देखी जा रही है. जैसे जैसे राज्यों में ब्लैक फंगस का प्रभाव बढ़ रहा है और इसके मरीजों की संख्या बढ़ रही है, सरकारें आतंकित होती जा रही हैं. सरकारी डाटा के मुताबिक पिछले साल से अब तक कोरोना फैलने के बाद से महाराष्ट्र में म्यूकोरमायकोसिस से 52 लोगों की जानें गई हैं. मरने वाले सभी लोग पहले कोरोना संक्रमित हुए थे. कोरोना से ठीक होने के बाद उन्हें ब्लैक फंगस इंफेक्शन हुआ और उनकी जान चली गई. महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने कहा कि प्रदेश में ब्लैक फंगस के कुल 1500 मामले थे. सिर्फ पुणे जिले में म्यूकोरमायकोसिस के 270 मामले सामने आए हैं. पड़ोसी राज्य गुजरात में स्थिति और विकट है. सिर्फ सूरत में 8 लोगों ने ब्लैक फंगस की वजह से अपनी दृष्टि खो दी है. जबकि पूरे प्रदेश में कुल 40 मरीजों की आंखों की रोशनी चली गई.करीब सवा सौ गज के एक छोटे से मकान में यह अस्पताल चल रहा था. इस मकान की स्थिति ऐसी है कि वह किसी भी वक्त गिर सकता है. अस्पताल के ग्राउंड फ्लोर पर ऑक्सीजन के सिलेंडर बिखरे मिले. इनमें से कुछ सिलेंडर के परखचे उड़े हुए थे, क्योंकि आग लगने के बाद इनमें विस्फोट हुआ था अस्पताल में लगी आग को भयावह रूप देने में इन ऑक्सीजन सिलेंडर ने भी मदद की.
लोकसभा चुनाव के आखिरी फेज में प्रचार के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आध्यात्मिक यात्रा पर जा रहे हैं. इस बार वे कन्याकुमारी में आध्यात्मिक प्रवास पर हैं. पीएम मोदी 30 मई से 1 जून तक कन्याकुमारी में ध्यान लगाएंगे. स्वामी विवेकानन्द ने भी यहीं तप किया था. पीएम ने 2019 में केदारनाथ, 2014 में शिवाजी के प्रतापगढ़ में ध्यान लगाया था.