
जामिया खोलेगा 150 सीटों का मेडिकल कॉलेज, अगले साल NEET से होंगे दाखिले, कुलपति ने बताया पूरा प्लान
AajTak
सरकार से हरी झंडी मिलने के बाद अब जामिया मिलिया इस्लामिया ने मेडिकल कॉलेज खोलने की तैयारियां तेज कर दी हैं. इसी साल के भीतर सभी कागजी कार्रवाई पूरी करके नेक्स्ट सेशन 2024 से यहां दाखिले शुरू हो जाएंगे. जानिए- कहां बनेगा मेडिकल कॉलेज, कितनी हो सकती है फीस, कैसे होंगे एडमिशन?
दिल्ली स्थित सेंट्रल यूनिवर्सिटी जामिया मिल्लिया इस्लामिया में अगले साल से ही एमबीबीएस स्टडी के लिए दाखिले शुरू हो जाएंगे. केंद्र सरकार ने जामिया में मेडिकल कॉलेज बनाने की मंजूरी दे दी है. मंजूरी मिलते ही यूनिवर्सिटी की ओर से इसका क्रियान्वयन तेज कर दिया गया है. जामिया मिलिया इस्लामिया की कुलपति प्रो नजमा अख्तर ने गुरुवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में इस मेडिकल कॉलेज के बारे में पूरी जानकारी दी.
जामिया मिलिया यूनिवर्सिटी में लंबे समय से मेडिकल कॉलेज बनने की बात हो रही है. अब जामिया के सौ वर्ष पूरे होने के साथ ही सरकार ने यूनिवर्सिटी को मेडिकल कॉलेज बनाने की मंजूरी दे दी है. अब मेडिकल कॉलेज खोलने के लिए तय मानकों को पूरा करने के लिए जामिया मालिया यूनिवर्सिटी ने कागजी कार्रवाई तेज कर दी है.
प्रो नजमा अख्तर ने कहा कि लंबे समय से हम प्रयास कर रह हैं कि जामिया मिलिया यूनिवर्सिटी अपना मेडिकल कॉलेज शुरू करे. अब सरकार की मंजूरी मिलने के साथ ही हमने इसके लिए तैयारियां तेज कर दी हैं. मेडिकल कॉलेज के लिए कहां बिल्डिंंग बनेगी. अस्पताल और हॉस्टल कहां बनेंगे, कैसे दाखिले होंगे, किस तरह मेडिकल कॉलेज का संचालन होगा समेत मेडिकल कॉलेज तैयार करने का पूरा खर्च कैसे उठाया जाएगा, जैसे सवालों का भी उन्होंने जवाब दिया.
किसके खर्च पर बनेगा मेडिकल कॉलेज वीसी ने बताया कि ये मेडिकल कॉलेज पूरी तरह पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (PPP) मॉडल से तैयार होगा. इसके लिए यूनिवर्सिटी इंडस्ट्री या किसी समाजसेवी संगठन से मदद लेने की कोशिश करेगी. मेडिकल कॉलेज में संसाधनों का खर्च प्राइवेट संस्था उठाएगी, वहीं एकेडमिक तौर पर पूरी जिम्मेदारी जामिया की होगी.
150 सीटों पर NEET से अगले साल होंगे दाखिले प्रो अख्तर ने बताया कि इस मेडिकल कॉलेज में 150 सीटें ( MBBS Seats ) होंगी. उन्होंने कहा कि यदि सभी अर्हता समय से पूरी हो गई तो हम अगले साल से इसमें दाखिला भी शुरू कर सकते हैं. यूनिवर्सिटी हेल्थ साइंसेज के उद्देश्य से जो बिल्डिंग बना रहा है, हम उसी में मेडिकल कॉलेज खोलेंगे. हेल्थ साइंस की बहुमंजिला इमारत में दो हॉस्टल समेत हर तरह की सुविधाएं होंगी.
जसोला में होगा हॉस्पिटल मेडिकल कॉलेज के साथ साथ जामिया ने इसके अस्पताल के लिए भी जमीन चिह्नित कर ली है. प्रो अख्तर ने बताया कि यह जसोला के पास पांच एकड़ की भूमि पर बनेगा. अस्पताल और मेडिकल कॉलेज अलग अलग होंगे क्योंकि एकेडमिक संस्थान से दूर अस्पताल बनना सही है.

भारत और यूरोप के वर्क कल्चर में फर्क को जर्मनी में काम कर रहे भारतीय इंजीनियर कौस्तव बनर्जी ने 'जमीन-आसमान का अंतर] बताया है. उनके मुताबिक, भारत में काम का मतलब अक्सर सिर्फ लगातार दबाव, लंबे घंटे और बिना रुके डिलीवरी से जुड़ा होता है, जबकि जर्मनी और यूरोप में काम के साथ-साथ इंसान की जिंदगी को भी बराबर अहमियत दी जाती है.

देश की सबसे बड़ी एयरलाइन IndiGo का संचालन शनिवार को भी पटरी पर नहीं लौट सका. संकट अब पांचवें दिन में पहुंच गया है और दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु व चेन्नई एयरपोर्ट पर यात्री रातभर अपने उड़ानों का इंतजार करते नजर आए. पिछले चार दिनों में एयरलाइन को 2,000 से अधिक उड़ानें रद्द करनी पड़ी हैं, जिससे करीब तीन लाख से ज्यादा यात्रियों की यात्रा योजनाएं बुरी तरह प्रभावित हुई हैं.











