
अगर 1 जनवरी 1977 या इससे पहले पैदा हुए हों तभी लग पाएगी कोरोना वैक्सीन
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कोरोना वैक्सीनेशन के लिए सिर्फ रजिस्ट्रेशन करवाना जरूरी है, लेकिन इसके बीच एक अहम बात है कट-ऑफ डेट की. जिसकी जानकारी स्वास्थ्य मंत्रालय ने दी है.
कोरोना वायरस के बढ़ते संकट के बीच कल का दिन काफी अहम होने जा रहा है. गुरुवार यानी 1 अप्रैल से देश में वैक्सीनेशन का दायरा बढ़ रहा है. अब 45 साल से अधिक उम्र का कोई भी व्यक्ति रजिस्ट्रेशन करवाकर कोरोना वैक्सीन लगवा सकता है. केंद्र सरकार ने कुछ दिन पहले इसका ऐलान किया था और राज्यों से तैयारी के लिए कहा था. कट ऑफ डेट का ध्यान रखना जरूरी कोरोना वैक्सीनेशन के लिए सिर्फ रजिस्ट्रेशन करवाना जरूरी है, लेकिन इसके बीच एक अहम बात है कट-ऑफ डेट की. जिसकी जानकारी स्वास्थ्य मंत्रालय ने दी है. दरअसल, 1 अप्रैल से 45 साल से अधिक उम्र वालों को वैक्सीन लगाई जाएगी. भारत सरकार ने इसके लिए 1 जनवरी, 2021 को बेस बनाया है. और 1 जनवरी, 1977 को कट ऑफ डेट फिक्स किया है. यानी अगर आपका जन्म इस तारीख से पहले हुआ है, तो आप कोरोना वैक्सीन लगवा सकते हैं. बता दें कि देश में 16 जनवरी को वैक्सीनेशन का अभियान शुरू हुआ था, तब स्वास्थ्यकर्मी और अन्य कोरोना वॉरियर्स को वैक्सीन लगाया जाना शुरू हुआ था. फिर 1 मार्च को 60 साल से अधिक उम्र वाले लोग और 45 साल से अधिक उम्र वाले (गंभीर बीमारी से पीड़ित) के लिए वैक्सीनेशन को खोला गया. अब एक अप्रैल से 45 साल से अधिक उम्र वाले हर व्यक्ति के लिए वैक्सीनेशन ओपन हो गया है. सर्टिफिकेट ना मिलने पर कर पाएंगे शिकायत केंद्र सरकार के मुताबिक एक अप्रैल से ही को-विन पोर्टल और आरोग्य सेतु ऐप पर वैक्सीनेशन के लिए रजिस्ट्रेशन की शुरुआत होगी. हर किसी को टीका लगवाने से पहले रजिस्ट्रेशन करवाना होगा, उसी के अनुसार वैक्सीन लगने का वक्त, जगह अलॉट किया जाएगा. बता दें कि जब आपको वैक्सीन लगेगी उसके तीस मिनट बाद तक आपको निगरानी में रखा जाएगा. इसके बाद ही आपको जाने दिया जाएगा. पहली डोज लगने के बाद ही दूसरी डोज के लिए तारीख मिल जाएगी. अभी वैक्सीन की दूसरी डोज 6 से 8 हफ्ते के अंतर के बाद लगाई जा रही है. वैक्सीन लगने के बाद हर व्यक्ति को एक सर्टिफिकेट मिलेगा, जो डिजिटल भी हो सकता है. अगर कोई अस्पताल सर्टिफिकेट नहीं दे सकता है, तो कोई भी व्यक्ति 1075 पर फोन कर शिकायत दर्ज करा सकता है.
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