
अगर राज्य CAA लागू नहीं करेंगे तो केंद्र सरकार क्या करेगी? गृह मंत्री अमित शाह ने समझाया कानून
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CAA लागू करने को लेकर विपक्ष शासित तीन राज्यों के मुख्यमंत्री विरोध कर रहे हैं. इस पर गृह मंत्री अमित शाह ने स्पष्ट किया है. उन्होंने कहा, मैं मानता हूं कि चुनाव के बाद सब कोऑपरेट करेंगे. यह पॉलिटिक्स के लिए गलत प्रचार कर रहे हैं. ये अपीसमेंट की पॉलिटिक्स है.
नागरिकता संशोधन कानून को लेकर विपक्ष लगातार हमलावर है. इस कानून पर सवाल उठा रहा है. यहां तक कि तीन मुख्यमंत्रियों ने दावा किया है कि वो अपने राज्य में सीएए लागू नहीं होने देंगे. इस पर गृह मंत्री अमित शाह ने न्यूज एजेंसी ANI से बातचीत में स्पष्ट किया है. शाह का कहना था कि चुनाव तक विरोध किया जा रहा है, उसके बाद सारे राज्य सीएए पर सहयोग करेंगे. शाह ने यह भी कहा कि राज्यों को सीएए लागू होने से रोकने का अधिकार भी नही है और इस प्रक्रिया से जुड़े कामकाज को सिर्फ भारत सरकार से जुड़े अधिकारी ही पूरा करेंगे.
सवाल: केरल, तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल ने कहा है कि हम अपने राज्यों में सीएए लागू नहीं होने देंगे. क्या उनके पास यह अधिकार है कि वो इसे लागू नहीं कर सकते हैं? जवाब: वो भी समझ रहे हैं कि अधिकार नहीं है. संविधान के अनुच्छेद 11 में नागरिकता के बारे में कानून बनाने का अधिकार केवल और केवल भारत की संसद को दिया गया है. ये केंद्र का विषय है. केंद्र और राज्यों का साझा विषय नहीं है. तो नागरिकता के बारे में कानून और कानून का इंप्लीमेंटेशन वो दोनों हमारे संविधान के अनुच्छेद 246/1 के माध्यम से इसे शेड्यूल 7 में डाला गया है. इसकी तमाम शक्तियां केंद्र सरकार को दी गई हैं.
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सवाल: वैरिफिकेशन, चेकिंग वगैरह का काम ग्राउंड पर होगा और वो सब स्टेट गवर्नमेंट ही पूरा करेगी? जवाब: क्या वैरिफाई करना है. वो सब तो खुद इंटरव्यू में बताएंगे कि हम बांग्लादेश से आए हैं. अपना पुराना डॉक्यूमेंट्स भी दिखाएंगे. वो इंटरव्यू राज्य में भी हो सकता है, लेकिन यह काम भारत सरकार करेगी.
सवाल: तो कोऑपरेशन की जरूरत नहीं है, क्योंकि यह करना ही है? जवाब: मैं मानता हूं कि चुनाव के बाद सब कोऑपरेट करेंगे. यह पॉलिटिक्स के लिए गलत प्रचार कर रहे हैं. ये अपीसमेंट की पॉलिटिक्स है.
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