
142 छात्राओं से बैड टच और गंदी बात... जींद में नाबालिग लड़कियों का यौन शोषण करने वाला प्रिंसिपल सस्पेंड
AajTak
जींद में उच्चाना के सरकारी स्कूल में पढ़ने वाली 142 छात्राओं ने अपने ही प्रिंसिपल पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया था. इस मामले में आरोपी प्रिंसिपल को सस्पेंड कर दिया गया है. पहले 60 लड़कियों ने प्रिंसिपल के खिलाफ शिकायत दी थी. अब यह आंकड़ा बढ़कर 142 हो गया है. फिलहाल इस मामले में आरोपी प्रिंसिपल को सस्पेंड कर दिया गया है.
हरियाणा के जींद में एक सरकारी स्कूल में पढ़ने वाली 142 नाबालिग लड़कियों ने प्रिंसिपल पर छह साल तक उनका यौन उत्पीड़न करने का आरोप लगाया था. बुधवार को जींद जिले के डिप्टी कमिश्नर मोहम्मद इमरान रजा ने बताया कि उप-विभागीय मजिस्ट्रेट (एसडीएम) के नेतृत्व में जांच समिति ने कुल 390 लड़कियों के बयान दर्ज किए हैं और हमने 142 मामलों की शिकायतें दर्ज की हैं. इस मामले में आरोपी प्रिंसिपल को सस्पेंड कर दिया गया है.
एक न्यूज एजेंसी के मुताबिक, लड़कियों पर यौन उत्पीड़न के मामले में आगे की कार्रवाई के लिए शिक्षा विभाग के उच्च अधिकारियों को भेजा गया है. इन 142 लड़कियों में से अधिकांश ने प्रिंसिपल पर यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया, जबकि बाकी ने कहा कि वे भयानक कृत्यों की गवाह थीं.
गौरतलब है कि 31 अगस्त को उच्चाना के सरकारी स्कूल में पढ़ने वाली कुछ लड़कियों ने राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़, राष्ट्रीय महिला आयोग और राज्य महिला आयोग सहित अन्य को कथित कृत्यों को लेकर पत्र लिखा था. इसमें छात्राओं ने खुलासा किया था कि उनके स्कूल का प्रिंसिपल करतार सिंह उन्हें प्रिंसिपल रूम में बुलाकर गंदी हरकतें करता है. उनके साथ छेड़छाड़ करता है. प्रिंसिपल ने अपने कार्यालय में काले शीशे का दरवाजा लगाया हुआ है. इसमें अंदर से बाहर की तरफ सब दिखता है लेकिन बाहर से अंदर कुछ नहीं दिखता.
छात्राओं के मुताबिक, वह यहां छात्राओं को प्रिंसिपल रूम में बुलाकर अश्लील बात करता था, यदि कोई आता दिख जाए तो बात को घुमा देता थाय. छात्राओं का आरोप है कि प्राचार्य को जो छात्रा पसंद आ जाती है वह किसी न किसी बहाने उसे अपने कार्यालय में बुला लेता और अपनी कुर्सी के पास खड़ा रखता. उनसे गंदी बात करता है, गलत नीयत से स्पर्श करता और पास करने का लालच देता.
इस शिकायत के बाद प्रशासन हरकत में आया. प्रशासन ने जिला शिक्षा अधिकारी की अध्यक्षता में जांच कमेटी का गठन किया. DEO ने जब छात्राओं से बात की तो वे प्रिंसिपल की हरकतें बताते हुए अपने आंसू भी नहीं रोक पाईं. जिला स्तरीय जांच कमेटी की रिपोर्ट के बाद स्कूल के प्रिंसिपल को सस्पेंड कर दिया गया है. शिक्षा अधिकारी अब मामले की उच्च स्तरीय जांच के पक्ष में हैं. पहले, सिर्फ 60 छात्राएं ही इस मामले में सामने आई थीं. लेकिन अब यह आंकड़ा बढ़कर 142 पहुंच गया है.
इस बारे में जीन्द के डीसी का कहना है कि चिट्ठी मिलने के बाद मामले की गंभीरता को देखते हुए आरोपी प्रिंसिपल को सस्पेंड कर दिया गया है. मामले की जांच जारी है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस के राष्ट्रपति को रूसी भाषा में भगवद गीता का एक विशेष संस्करण भेंट किया है. इससे पहले, अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति को भी गीता का संस्करण दिया जा चुका है. यह भेंट भारत की सांस्कृतिक और आध्यात्मिक विरासत को साझा करने का प्रतीक है, जो विश्व के नेताओं के बीच मित्रता और सम्मान को दर्शाता है.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन को कई अनोखे और खास तोहफे भेंट किए हैं. इनमें असम की प्रसिद्ध ब्लैक टी, सुंदर सिल्वर का टी सेट, सिल्वर होर्स, मार्बल से बना चेस सेट, कश्मीरी केसर और श्रीमद्भगवदगीता की रूसी भाषा में एक प्रति शामिल है. इन विशेष तोहफों के जरिए भारत और रूस के बीच गहरे संबंधों को दर्शाया गया है.

चीनी सरकारी मीडिया ने शुक्रवार को राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के उन बयानों को प्रमुखता दी, जिनमें उन्होंने भारत और चीन को रूस का सबसे करीबी दोस्त बताया है. पुतिन ने कहा कि रूस को दोनों देशों के आपसी रिश्तों में दखल देने का कोई अधिकार नहीं. चीन ने पुतिन की भारत यात्रा पर अब तक आधिकारिक टिप्पणी नहीं की है, लेकिन वह नतीजों पर नजर रखे हुए है.

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के सम्मान में राष्ट्रपति भवन में शुक्रवार रात डिनर का आयोजन किया गया. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार इस डिनर में लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को निमंत्रण नहीं दिया गया. इसके बावजूद कांग्रेस के सांसद शशि थरूर को बुलाया गया.

आज रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ शिखर वार्ता के मौके पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत–रूस मित्रता एक ध्रुव तारे की तरह बनी रही है. यानी दोनों देशों का संबंध एक ऐसा अटल सत्य है, जिसकी स्थिति नहीं बदलती. सवाल ये है कि क्या पुतिन का ये भारत दौरा भारत-रूस संबंधों में मील का पत्थर साबित होने जा रहा है? क्या कच्चे तेल जैसे मसलों पर किसी दबाव में नहीं आने का दो टूक संकेत आज मिल गया? देखें हल्ला बोल.

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मंदिर में जमा पैसा देवता की संपत्ति है और इसे आर्थिक संकट से जूझ रहे सहकारी बैंकों को बचाने के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता. कोर्ट ने केरल हाई कोर्ट के उस आदेश को बरकरार रखा, जिसमें थिरुनेल्ली मंदिर देवस्वोम की फिक्स्ड डिपॉजिट राशि वापस करने के निर्देश दिए गए थे. कोर्ट ने बैंकों की याचिकाएं खारिज कर दीं.







