
पाकिस्तान के कहने पर इस्लामिक देश क्या भारत के खिलाफ जाएंगे?
AajTak
पाकिस्तान इस्लामिक देशों से कह रहा है कि वो कश्मीर में जी-20 की बैठक में शामिल न हो. माना जा रहा है कि पाकिस्तान के करीबी दोस्त तुर्की और चीन इस बैठक में शामिल नहीं होंगे. पाकिस्तान यह भी चाहता है कि सऊदी और इंडोनेशिया भी मीटिंग में शामिल न हों.
G-20 Kashmir Meeting: जी-20 का अध्यक्षता कर रहा भारत अगले हफ्ते कश्मीर में जी-20 टूरिज्म वर्किंग ग्रुप की बैठक आयोजित कर रहा है. इसे लेकर पहले तो खुद पाकिस्तान ने आपत्ति जताई और अब वो दूसरे इस्लामिक देशों से भी आग्रह कर रहा है कि वो इस मीटिंग में शामिल न हो. पाकिस्तान के करीबी दोस्त चीन और तुर्की को लेकर भी कहा जा रहा है कि वो कश्मीर में आयोजित मीटिंग में शामिल नहीं होंगे. पाकिस्तान चाहता है कि इस्लामिक देश सऊदी अरब और इंडोनेशिया भी बैठक में शामिल न हो.
टूरिज्म वर्किंग ग्रुप की यह बैठक 22-24 मई के बीच कश्मीर के श्रीनगर में होने वाली है. जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 के हटाए जाने के बाद यह कश्मीर में पहला बड़ा ग्लोबल इवेंट है.
पाकिस्तान, जिसने कश्मीर से अनुच्छेद 370 के हटाए जाने को लेकर कड़ा विरोध जताते हुए भारत से अपने राजनयिक और व्यापारिक संबंध लगभग खत्म कर दिए थे, कश्मीर में जी-20 की बैठक को लेकर भड़का हुआ है.
इसी बीच यह खबर आ रही है कि जी-20 की इस बैठक में उसके करीबी दोस्त चीन और तुर्की शामिल नहीं हो सकते हैं. अगर ऐसा होता है तो इसे पाकिस्तान की कूटनीतिक जीत के तौर पर देखा जाएगा.
दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं के गुट जी-20 में अमीर देश और यूरोपीय संघ शामिल हैं. यह ब्लॉक दुनिया के सकल घरेलू उत्पाद का 80 प्रतिशत हिस्सा है. इस संगठन में चीन, तुर्की, इंडोनेशिया और सऊदी अरब भी शामिल हैं.
भारत में पाकिस्तान के पूर्व राजदूत अब्दुल बासित ने कहा कि उनके सूत्रों ने पुष्टि की है कि चीन और तुर्की श्रीनगर में आयोजित हो रहे जी-20 की बैठक से दूर रहेंगे.

जॉइंट प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, 'पंद्रह साल पहले, 2010 में, हमारी साझेदारी को स्पेशल प्रिविलेज्ड स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप का दर्जा दिया गया था. पिछले ढाई दशकों में राष्ट्रपति पुतिन ने अपने नेतृत्व और विजन से इस रिश्ते को लगातार आगे बढ़ाया है. हर परिस्थिति में उनके नेतृत्व ने हमारे संबंधों को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया है.

आजतक के साथ रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ ग्लोबल सुपर एक्सक्लूसिव बातचीत की. आजतक से बातचीत में राष्ट्रपति पुतिन ने कहा कि मैं आज जो इतना बड़ा नेता बना हूं उसके पीछे मेरा परिवार है. जिस परिवार में मेरा जन्म हुआ जिनके बीच मैं पला-बढ़ा मुझे लगता है कि इन सब ने मिलाकर मुझे वो बनाया है जो आज मैं हूं.

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने आजतक के साथ खास बातचीत में बताया कि भारत-रूस के संबंध मजबूत होने में वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का महत्वपूर्ण योगदान है. पुतिन ने कहा कि वे पीएम मोदी के साथ काम कर रहे हैं और उनके दोस्ताना संबंध हैं. उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि भारत को प्रधानमंत्री मोदी के साथ काम करने पर गर्व है और वे उम्मीद करते हैं कि मोदी नाराज़ नहीं होंगे.

आजतक के साथ रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की एक खास बातचीत की गई है जिसमें उन्होंने रूस की इंटेलिजेंस एजेंसी की क्षमता और विश्व की सबसे अच्छी एजेंसी के बारे में अपने विचार साझा किए हैं. पुतिन ने कहा कि रूस की इंटेलिजेंस एजेंसी अच्छा काम कर रही है और उन्होंने विश्व की अन्य प्रमुख एजेंसियों की तुलना में अपनी एजेंसी की क्षमता पर गर्व जताया.

भारत आने से पहले रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने आजतक की मैनेजिंग एडिटर अंजना ओम कश्यप और इंडिया टुडे की फॉरेन अफेयर्स एडिटर गीता मोहन के साथ एक विशेष बातचीत की. इस बातचीत में पुतिन ने वैश्विक मुद्दों पर खुलकर अपनी राय दी, खासतौर पर रूस-यूक्रेन युद्ध पर. उन्होंने स्पष्ट किया कि इस युद्ध का दो ही समाधान हो सकते हैं— या तो रूस युद्ध के जरिए रिपब्लिक को आजाद कर दे या यूक्रेन अपने सैनिकों को वापस बुला ले. पुतिन के ये विचार पूरी दुनिया के लिए महत्वपूर्ण हैं क्योंकि यह युद्ध अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गहरी चिंता का विषय बना हुआ है.

कनाडा अगले साल PR के लिए कई नए रास्ते खोलने जा रहा है, जिससे भारतीय प्रोफेशनल्स खासकर टेक, हेल्थकेयर, कंस्ट्रक्शन और केयरगिविंग सेक्टर में काम करने वालों के लिए अवसर होंगे. नए नियमों का सबसे बड़ा फायदा अमेरिका में H-1B वीज़ा पर फंसे भारतीयों, कनाडा में पहले से वर्क परमिट पर मौजूद लोगों और ग्रामीण इलाकों में बसने को तैयार लोगों को मिलेगा.







