
क्या बॉर्डर पर इमरजेंसी लगाने से रुक जाएगी अमेरिका में घुसपैठ, फिलहाल कौन सा रास्ता सबसे प्रचलित?
AajTak
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दक्षिणी सीमा पर इमरजेंसी लगा दी, और सेना को आदेश दिया कि वो अमेरिका-मेक्सिको बॉर्डर पर कड़ी नजर रखे. ये देश का सबसे पोरस या यूं कहें कि नाजुक हिस्सा है, जहां से भारी घुसपैठ होती रही. ट्रंप ने अपने पहले टर्म में इस सीमा पर विशालकाय दीवार भी बनवानी शुरू की थी, जो कई वजहों से अधूरी छूट गई.
डोनाल्ड ट्रंप ने आते ही घुसपैठ पर एक्शन लेना शुरू कर दिया. सोमवार को वाइट हाउस पहुंचते ही उन्होंने मेक्सिको से सटे अमेरिकी बॉर्डर पर नेशनल इमरजेंसी लगा दी. अब इस जगह आर्मी और नेशनल गार्ड्स की संख्या काफी बढ़ जाएगी. फर्स्ट टर्म में भी ट्रंप ने इसी जगह को घुसपैठ का स्पॉट मानते हुए बेहद खर्चीली दीवार बनवानी शुरू की थी, लेकिन काम अधूरा रह गया. तो क्या अब इमरजेंसी एक्ट के जरिए ट्रंप ये सारे काम करवा सकेंगे?
इमरजेंसी आमतौर पर उन हालातों में लगाई जाती है, जब कुछ बेहद संवेदनशील घटा हो, या घटने का डर हो. स्थितियों पर काबू पाने के लिए आपातकाल का कंसेप्ट लगभग हर जगह है, लेकिन ट्रंप ने एकदम से देश की एक सीमा पर नेशनल इमरजेंसी घोषित कर दी. ऐसा वो सत्तर के दशक में आए नियम की वजह से कर सके. दरअसल साल 1976 में वहां नेशनल इमरजेंसी एक्ट आया.
यह राष्ट्रपति को कुछ खास हालातों में आपातकाल घोषित करने की पावर देता है ताकि वे किसी मुश्किल में तुरंत फैसला ले सकें, न कि सबकी सहमति का इंतजार करते रहें. वैसे इस एक्ट की खास बात ये है कि हर 6 महीने में इसे टटोलना होगा और देखना होगा कि क्या इमरजेंसी की वाकई जरूरत है, या इसे हटाया जा सकता है. कांग्रेस चाहे तो सालभर के भीतर खुद ही एक्शन लेते हुए इसे हटा सकती है.
अमेरिका में 9/11 हमले के बाद तत्कालीन लीडर जॉर्ज डब्ल्यू बुश ने इसी एक्ट के जरिए इमरजेंसी लगाई थी. वहीं ट्रंप ने अपने कार्यकाल में दो बार इसका इस्तेमाल किया. एक तो कोविड के दौरान, हेल्थ इमरजेंसी लगाई गई, जो पूरी दुनिया में कॉमन थी. दूसरा, साल 2019 में उन्होंने मेक्सिको सीमा पर आपातकाल घोषित किया और दीवार बनवानी शुरू कर दी. ट्रंप का आरोप है कि इसी सीमा से सबसे ज्यादा घुसपैठ होती रही, साथ ही ड्रग्स की तस्करी भी बढ़ने लगी.
यूएस-मेक्सिको बॉर्डर अमेरिका में अवैध रूप से आने वालों के लिए सबसे प्रचलित रास्ता रहा, जो तीन हजार किलोमीटर में फैला हुआ है. इस दायरे में चार अमेरिकी और छह मैक्सिकन राज्य आते हैं. रेगिस्तान, नदी और पहाड़ों के बीच फैली इस सीमा का ज्यादातर हिस्सा खुला हुआ है, यानी न तो पक्की पेट्रोलिंग है, न ही कोई दीवार या बाड़. यही बात घुसपैठियों के हित में जाती है. बीते तीन दशकों में ये बॉर्डर अवैध रूप से एंट्री के लिए कुख्यात रहा.

आजतक के साथ रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की एक खास बातचीत की गई है जिसमें उन्होंने रूस की इंटेलिजेंस एजेंसी की क्षमता और विश्व की सबसे अच्छी एजेंसी के बारे में अपने विचार साझा किए हैं. पुतिन ने कहा कि रूस की इंटेलिजेंस एजेंसी अच्छा काम कर रही है और उन्होंने विश्व की अन्य प्रमुख एजेंसियों की तुलना में अपनी एजेंसी की क्षमता पर गर्व जताया.

भारत आने से पहले रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने आजतक की मैनेजिंग एडिटर अंजना ओम कश्यप और इंडिया टुडे की फॉरेन अफेयर्स एडिटर गीता मोहन के साथ एक विशेष बातचीत की. इस बातचीत में पुतिन ने वैश्विक मुद्दों पर खुलकर अपनी राय दी, खासतौर पर रूस-यूक्रेन युद्ध पर. उन्होंने स्पष्ट किया कि इस युद्ध का दो ही समाधान हो सकते हैं— या तो रूस युद्ध के जरिए रिपब्लिक को आजाद कर दे या यूक्रेन अपने सैनिकों को वापस बुला ले. पुतिन के ये विचार पूरी दुनिया के लिए महत्वपूर्ण हैं क्योंकि यह युद्ध अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गहरी चिंता का विषय बना हुआ है.

कनाडा अगले साल PR के लिए कई नए रास्ते खोलने जा रहा है, जिससे भारतीय प्रोफेशनल्स खासकर टेक, हेल्थकेयर, कंस्ट्रक्शन और केयरगिविंग सेक्टर में काम करने वालों के लिए अवसर होंगे. नए नियमों का सबसे बड़ा फायदा अमेरिका में H-1B वीज़ा पर फंसे भारतीयों, कनाडा में पहले से वर्क परमिट पर मौजूद लोगों और ग्रामीण इलाकों में बसने को तैयार लोगों को मिलेगा.

रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने आजतक के 'वर्ल्ड एक्सक्लूसिव' इंटरव्यू में दुनिया के बदलते समीकरणों और भारत के साथ मजबूत संबंधों के भविष्य पर खुलकर बात की. पुतिन ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी किसी के दबाव में काम नहीं करते. उन्होंने भारत को विश्व विकास की आधारशिला बताया और स्पेस, न्यूक्लियर तकनीक समेत रक्षा और AI में साझेदारी पर जोर दिया.

पुतिन ने कहा कि अफगानिस्तान की सरकार ने बहुत कुछ किया है. और अब वो आतंकियों और उनके संगठनों को चिह्नि्त कर रहे हैं. उदाहरण के तौर पर इस्लामिक स्टेट और इसी तरह के कई संगठनों को उन्होंने अलग-थलग किया है. अफगानिस्तान के नेतृत्व ने ड्रग्स नेटवर्क पर भी कार्रवाई की है. और वो इस पर और सख्ती करने वाले हैं. सबसे महत्वपूर्ण बात ये है कि वहां जो होता है उसका असर होता है.

भारत दौरे से ठीक पहले रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने आजतक को दिए अपने 100 मिनट के सुपर एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में भारत, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, G8 और क्रिमिया को लेकर कई अहम बातें कही हैं. इंटरव्यू में पुतिन ने ना सिर्फ भारत की प्रगति की तारीफ की, बल्कि रणनीतिक साझेदारी को नई ऊंचाई देने का भरोसा भी जताया.

यूक्रेन युद्ध के बीच पुतिन का आजतक से ये खास इंटरव्यू इसलिए अहम हो जाता है क्योंकि इसमें पहली बार रूस ने ट्रंप की शांति कोशिशों को इतनी मजबूती से स्वीकारा है. पुतिन ने संकेत दिया कि मानवीय नुकसान, राजनीतिक दबाव और आर्थिक हित, ये तीनों वजहें अमेरिका को हल तलाशने पर मजबूर कर रही हैं. हालांकि बड़ी प्रगति पर अभी भी पर्दा है, लेकिन वार्ताओं ने एक संभावित नई शुरुआत की उम्मीद जरूर जगाई है.






