
आग में जले घर-दुकान, बेघरबार लोग, शरणार्थी शिविर में बच्चे-महिलाएं.... मुर्शिदाबाद हिंसा के बाद कैसे हैं हालात?
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मुर्शिदाबाद में वक्फ कानून के खिलाफ हिंसा की लपटें तो शांत हो गईं, लेकिन सियासत की आग अभी धधक रही है. हिंसा के बाद इलाके से सैकड़ों लोगों ने खौफ में मुर्शिदाबाद छोड़ दिया है. इनमें ज्यादातर लोगों ने मालदा में शरण ली है. शुक्रवार दोपहर सूती, धूलियान, शमशेरगंज और जंगीपुर इलाकों में भड़की हिंसा में तीन लोगों की मौत हो गई थी और कई अन्य घायल हो गए थे. हिंसा के सिलसिले में शनिवार दोपहर तक कुल 180 लोगों को गिरफ्तार किया गया है.
पश्चिम बंगाल में तनावपूर्ण शांति है. वक्फ संशोधन कानून के विरोध में हिंसा ने हर किसी को झकझोर दिया है. भीड़ ने वाहनों में आग लगा दी. घर जला दिए. दुकानें तोड़ दीं. ट्रेन रोक दी और रेलवे की संपत्ति को भी नुकसान पहुंचाया है. हिंसा और बवाल से मुर्शिदाबाद समेत कई इलाके सहम उठे और बड़ी संख्या में लोग पलायन कर गए हैं. करीब 500 लोगों ने मालवा में जाकर शरण ली है. भीड़ ने इन लोगों के घर जला दिए हैं. फिलहाल, इलाके में सेंट्रल फोर्सेज की तैनाती कर दी गई है. पुलिस की टीमें भी सड़क पर उतर गई हैं. दंगाइयों की पहचान की जा रही है. अब तक 150 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है.
दरअसल, मुर्शिदाबाद में शुक्रवार को जुमे की नमाज के बाद वक्फ संशोधन कानून के खिलाफ हजारों लोग सड़कों पर उतर गए और नेशनल हाइवे 34 ब्लॉक कर दिया. जब पुलिस ने भीड़ हटाने की कोशिश की तो एक तरह से जंग छिड़ गई. ठीक उसी समय मुर्शिदाबाद से लगभग 10 किलोमीटर दूर शमशेरगंज में भी नेशनल हाइवे पर हजारों की संख्या में लोग आ गए.
शमशेरगंज में भीड़ ने सबसे पहले डाक बंगला मोड़ पर बवाल किया. पुलिस की गाड़ियों में आग लगाई. पुलिस के एक आउटपोस्ट में तोड़फोड़ की और उसे आग के हवाले कर दिया. सड़क किनारे दुकानों और दोपहिया वाहनों को नुकसान पहुंचाया और आगजनी की. भीड़ ने धूलियान स्टेशन के पास रेलवे गेट और रिले रूम में जमकर पथराव किया. आग लगाने की कोशिश की. रेलवे का स्टाफ किसी तरह जान बचाकर निकला. बाद में भारी संख्या में पुलिस और सेंट्रल फोर्सेस के जवान पहुंचे और हालात काबू में किए. अभी इन इलाकों सेंट्रल फोर्सेस के जवान और पश्चिम बंगाल पुलिस तैनात है. हालांकि तनाव बना हुआ है. हिंसा के बाद इलाके से सैकड़ों लोगों ने खौफ में मुर्शिदाबाद छोड़ दिया है. इनमें ज्यादातर लोगों ने मालदा में शरण ली है.
कहां-कहां हिंसा हुई....
मुर्शिदाबाद, रघुनाथगंज, सूती, जंगीपुर और शमशेरगंज के अलावा दक्षिण 24 परगना जिले के अमतला, उत्तर 24 परगना जिले और हुगली के चंपदानी में बवाल और हिंसा की घटनाएं सामने आईं. कई इलाकों में बीएनएसएस की धारा 163 लागू लागू की गई.

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