
CAA के तहत पहली बार मिली भारतीय नागरिकता, 14 लोगों को मिला सिटीजनशिप सर्टिफिकेट
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भारत सरकार ने 11 मार्च 2024 को नागरिकता संशोधन अधिनियम, 2024 को अधिसूचित किया था. इसमें आवेदन करने के तरीके, जिलास्तरीय समिति (DLC) द्वारा आवेदन को आगे बढ़ाने की प्रक्रिया और राज्यस्तरीय अधिकार प्राप्त समिति (EC) द्वारा आवेदनों की जांच और नागरिकता प्रदान करने की व्यवस्था की गई है.
नागरिकता संशोधन अधिनियम (CAA) की अधिसूचना जारी होने के बाद आज पहली बार 14 लोगों को सिटीजनशिप सर्टिफिकेट सौंपे गए. इसके साथ ही पाकिस्तान, बांग्लादेश, अफगानिस्तान और अफगानिस्तान से प्रताड़ित गैर-मुस्लिम प्रवासियों को भारत की नागरिकता देने की प्रक्रिया शुरू हो गई.
पीटीआई के मुताबिक एक आधिकारिक प्रवक्ता ने कहा कि केंद्रीय गृह सचिव अजय कुमार भल्ला ने एक पोर्टल के माध्यम से उनके आवेदन ऑनलाइन संसाधित होने के बाद 14 लोगों को प्रमाण पत्र सौंपे. साथ ही आवेदकों को नागरिकता संशोधन अधिनियम की महत्वपूर्ण बातें भी बताईं. इस मौके पर सचिव, डाक, निदेशक और भारत के रजिस्ट्रार जनरल सहित कई वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे.
बता दें कि भारत सरकार ने 11 मार्च 2024 को नागरिकता संशोधन अधिनियम, 2024 को अधिसूचित किया था. इसमें आवेदन करने के तरीके, जिलास्तरीय समिति (DLC) द्वारा आवेदन को आगे बढ़ाने की प्रक्रिया और राज्यस्तरीय अधिकार प्राप्त समिति (EC) द्वारा आवेदनों की जांच और नागरिकता प्रदान करने की व्यवस्था की गई है.
किन देशों के लोगों को मिलेगी नागरिकता?
नागरिकता संशोधन कानून के जरिए पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आए हिंदू, सिख, बौद्ध, जैन, ईसाई और पारसी धर्म से जुड़े शरणार्थियों को भारतीय नागरिकता दी जाएगा. कानून के मुताबिक, जो लोग 31 दिसंबर 2014 से पहले आकर भारत में बस गए थे, उन्हें ही नागरिकता दी जाएगी.
नागरिकता संशोधन बिल पहली बार 2016 में लोकसभा में पेश किया गया था. यहां से तो ये पास हो गया था, लेकिन राज्यसभा में अटक गया. बाद में इसे संसदीय समिति के पास भेजा गया. और फिर चुनाव आ गए. दोबारा चुनाव के बाद नई सरकार बनी, इसलिए दिसंबर 2019 में इसे लोकसभा में फिर पेश किया गया. इस बार ये बिल लोकसभा और राज्यसभा, दोनों जगह से पास हो गया. राष्ट्रपति की मंजूरी मिलने के बाद 10 जनवरी 2020 से ये कानून बन गया था, लेकिन इसकी अधिसूचना इस साल 11 मार्च को जारी की गई.

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