11 दिनों के खूनी संघर्ष के बाद गाजा पट्टी में सीजफायर, हमले में मारे गए 227 फिलिस्तीनी, 11 इजरायली
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गुरुवार को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में जब फिलिस्तीनी प्रतिनिधि ने बोलना शुरू किया तो संयुक्त राष्ट्र में इजरायली राजदूत गिलैड अर्दान वहां से बाहर निकल गए. इससे पहले अर्दान ने कहा था कि यह युद्ध इजरायल और फिलिस्तीन के बीच नहीं है बल्कि इजरायल और आतंकी संगठन हमास के बीच है.
इजरायल और हमास के बीच पिछले 11 दिनों से चल रहा संघर्ष आखिरकार गुरुवार को सीजफायर पर जाकर शांत हुआ. इजरायली मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के सुरक्षा मंत्रिमंडल ने गाजा पट्टी में 11 दिनों के सैन्य अभियान को रोकने के लिए एकतरफा संघर्ष विराम को मंजूरी दे दी है. हमास के एक अधिकारी ने भी इसकी पुष्टि की है. अधिकारी के मुताबिक यह सीजफायर शुक्रवार तड़के 2 बजे से प्रभावी होगा. इजरायली कैबिनेट ने युद्धविराम की पुष्टि की है लेकिन इसके लागू होने का समय नहीं बताया है. माना जा रहा है कि अमेरिका के दबाव में यह फैसला लिया गया है. इससे पहले बुधवार को नेतन्याहू ने सैन्य मुख्यालय के दौरे के बाद कहा था कि वह 'अमेरिका के राष्ट्रपति के सहयोग की बहुत सराहना करते हैं', लेकिन 'इजरायल के लोगों को शांति एवं सुरक्षा वापस दिलाने के लिए' देश अभियान जारी रखेगा.दो सालों से चल रहे रूस-यूक्रेन युद्ध के फिलहाल रुकने के कोई आसान नहीं. इस बीच पिछले अक्टूबर से हमास और इजरायल में जंग छिड़ चुकी. अफ्रीकी देशों समेत मिडिल ईस्ट में सिविल वॉर जारी है. माना जाता है कि इंटर-स्टेट यानी दो देशों के बीच लड़ाई सालभर से ज्यादा चल जाए तो अगले 10 सालों तक सीमा पर झड़पें कॉमन हैं.
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