
बंगाल: पंचायत चुनाव में केंद्रीय बल का विरोध, ममता सरकार और चुनाव आयोग ने SC का रुख किया
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पश्चिम बंगाल सरकार और राज्य चुनाव आयोग ने संयुक्त रूप से सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है. इसमें पश्चिम बंगाल पंचायत चुनावों के दौरान केंद्रीय बलों की तैनाती को चुनौती दी है. राज्य के पंचायत चुनाव में केंद्रीय बलों को तैनात करने के लिए हाई कोर्ट ने आदेश दिए थे. इसी आदेश का राज्य सरकार विरोध कर रही है.
पश्चिम बंगाल में पंचायत चुनाव में केंद्रीय बलों की तैनाती को लेकर विवाद छिड़ गया है. हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ ममता बनर्जी सरकार और राज्य चुनाव आयोग ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है. दोनों ने संयुक्त रूप से याचिका दायर कर आदेश को चुनौती दी है. वहीं, इस मामले में राज्य के गवर्नर भी एक्शन मोड में आ गए हैं. उन्होंने पूरी जानकारी के साथ राज्य चुनाव आयोग के कमिश्नर को तलब किया है.
बता दें कि पश्चिम बंगाल में 8 जुलाई को पंचायत चुनाव होने जा रहे हैं. SEC ने चुनाव में नामांकन के लिए सिर्फ 7 दिन (9 जून से 15 जून तक) का समय दिया है. इतना ही नहीं, हाई कोर्ट ने गुरुवार को एसईसी को पंचायत चुनाव के लिए 48 घंटे के भीतर पूरे पश्चिम बंगाल में केंद्रीय बलों की तैनात करने का निर्देश दिया था. इस आदेश का सरकार विरोध कर रही है. वहीं, विपक्ष ने केंद्रीय बलों की तैनाती का समर्थन किया है.
हालांकि हाई कोर्ट ने इस मांग को अस्वीकार कर दिया, जिसमें चुनावों के पर्यवेक्षक के रूप में हाई कोर्ट के रिटायर्ड जज को नियुक्त किए जाने की मांग की गई थी. दरअसल, विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अधीर रंजन चौधरी की तरफ से हाई कोर्ट में पत्र याचिकाएं दाखिल की गई थीं.
'राज्यपाल ने SEC को इमरजेंसी मीटिंग में बुलाया'
आयोग के सूत्रों के अनुसार, राज्य चुनाव आयोग के वरिष्ठ अधिकारियों और सरकार द्वारा शुक्रवार को कानूनी सलाहकारों के साथ बैठक की गई. उसके बाद निर्णय लिया गया. अब राज्य चुनाव आयोग और ममता सरकार ने सभी जिलों में केंद्रीय बलों की तैनाती पर हाईकोर्ट के आदेश को चुनौती दी है. इसके लिए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है. वहीं, बंगाल के राज्यपाल ने पंचायत चुनाव हिंसा पर एक आपातकालीन बैठक के लिए राज्य चुनाव आयुक्त को राजभवन में बुलाया है. सूत्रों का कहना है कि राज्यपाल ने चुनाव पूर्व हिंसा पर विस्तृत चर्चा के लिए एसईसी को बुलाया है.
पंचायत चुनाव में नामांकन के लिए समय बढ़ाएं, केंद्रीय बलों की तैनाती पर करें विचार- कोलकाता HC

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