
थाईलैंड और कंबोडिया में तत्काल सीजफायर पर बनी सहमति, 4 दिन से चल रही थी जंग
AajTak
थाईलैंड और कंबोडिया कई दिनों तक चली घातक सीमा झड़पों के बाद 'तत्काल और बिना शर्त' सीजफायर पर सहमत हुए हैं.
थाईलैंड और कंबोडिया कई दिनों तक चली घातक सीमा झड़पों के बाद 'तत्काल और बिना शर्त' सीजफायर पर सहमत हुए हैं. मलेशियाई प्रधानमंत्री अनवर इब्राहिम ने सोमवार को कहा कि थाईलैंड और कंबोडिया कई दिनों से चल रहे सीमा संघर्ष को खत्म करने के लिए तत्काल और बिना शर्त युद्धविराम पर सहमत हो गए हैं. यह घटनाक्रम मलेशिया द्वारा थाईलैंड-कंबोडिया संघर्ष में मध्यस्थता की पेशकश के बाद सामने आया है.
कंबोडियाई प्रधानमंत्री हुन मानेट और थाईलैंड के कार्यवाहक प्रधानमंत्री फुमथम वेचायाचाई ने मलेशिया के पुत्राजया में इब्राहिम के आवास पर मध्यस्थता वार्ता में भाग लिया. उनके साथ मलेशिया में चीनी और अमेरिकी राजदूत भी थे.
किस मुद्दे पर विवाद?
दोनों देशों के बीच 24 जुलाई को झड़प शुरू होने की जानकारी सामने आई थी. गुरुवार, 24 जुलाई को थाईलैंड ने कंबोडिया में कई ठिकानों पर बमबारी करने के लिए एक F-16 लड़ाकू विमान उड़ाया. दोनों पक्षों की तरफ से हुई गोलाबारी में करीब 11 नागरिक मारे गए. इस बीच, सीमा पर तनाव दक्षिण-पूर्व एशियाई देशों के बीच एक दुर्लभ सशस्त्र संघर्ष में बदल गया. दोनों देशों ने अपनी 817 किलोमीटर लंबी ज़मीनी सीमा पर भारी तोपखाने की बमबारी और थाई हवाई हमलों से इसे और बढ़ा दिया था.
दोनों पक्षों ने एक-दूसरे पर इस झड़प को शुरू करने का आरोप लगाया, जिसमें कम से कम 35 लोग मारे गए और दोनों पक्षों के 2,60,000 से ज़्यादा लोग विस्थापित हुए. दोनों देशों ने अपने राजदूतों को वापस बुला लिया और थाईलैंड ने कंबोडिया के साथ सभी सीमाएं बंद कर दीं.
कंबोडिया ने नागरिक ठिकानों पर गोलीबारी के थाईलैंड के आरोपों का कड़ा खंडन किया है और कहा है कि थाईलैंड ने निर्दोष लोगों की जान जोखिम में डाली है. उसने इंटरनेशनल कम्युनिटी से थाईलैंड द्वारा उसके खिलाफ की गई आक्रामकता की निंदा करने का आह्वान किया है.

जॉइंट प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, 'पंद्रह साल पहले, 2010 में, हमारी साझेदारी को स्पेशल प्रिविलेज्ड स्ट्रैटेजिक पार्टनरशिप का दर्जा दिया गया था. पिछले ढाई दशकों में राष्ट्रपति पुतिन ने अपने नेतृत्व और विजन से इस रिश्ते को लगातार आगे बढ़ाया है. हर परिस्थिति में उनके नेतृत्व ने हमारे संबंधों को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया है.

आजतक के साथ रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ ग्लोबल सुपर एक्सक्लूसिव बातचीत की. आजतक से बातचीत में राष्ट्रपति पुतिन ने कहा कि मैं आज जो इतना बड़ा नेता बना हूं उसके पीछे मेरा परिवार है. जिस परिवार में मेरा जन्म हुआ जिनके बीच मैं पला-बढ़ा मुझे लगता है कि इन सब ने मिलाकर मुझे वो बनाया है जो आज मैं हूं.

रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने आजतक के साथ खास बातचीत में बताया कि भारत-रूस के संबंध मजबूत होने में वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का महत्वपूर्ण योगदान है. पुतिन ने कहा कि वे पीएम मोदी के साथ काम कर रहे हैं और उनके दोस्ताना संबंध हैं. उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि भारत को प्रधानमंत्री मोदी के साथ काम करने पर गर्व है और वे उम्मीद करते हैं कि मोदी नाराज़ नहीं होंगे.

आजतक के साथ रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की एक खास बातचीत की गई है जिसमें उन्होंने रूस की इंटेलिजेंस एजेंसी की क्षमता और विश्व की सबसे अच्छी एजेंसी के बारे में अपने विचार साझा किए हैं. पुतिन ने कहा कि रूस की इंटेलिजेंस एजेंसी अच्छा काम कर रही है और उन्होंने विश्व की अन्य प्रमुख एजेंसियों की तुलना में अपनी एजेंसी की क्षमता पर गर्व जताया.

भारत आने से पहले रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने आजतक की मैनेजिंग एडिटर अंजना ओम कश्यप और इंडिया टुडे की फॉरेन अफेयर्स एडिटर गीता मोहन के साथ एक विशेष बातचीत की. इस बातचीत में पुतिन ने वैश्विक मुद्दों पर खुलकर अपनी राय दी, खासतौर पर रूस-यूक्रेन युद्ध पर. उन्होंने स्पष्ट किया कि इस युद्ध का दो ही समाधान हो सकते हैं— या तो रूस युद्ध के जरिए रिपब्लिक को आजाद कर दे या यूक्रेन अपने सैनिकों को वापस बुला ले. पुतिन के ये विचार पूरी दुनिया के लिए महत्वपूर्ण हैं क्योंकि यह युद्ध अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गहरी चिंता का विषय बना हुआ है.

कनाडा अगले साल PR के लिए कई नए रास्ते खोलने जा रहा है, जिससे भारतीय प्रोफेशनल्स खासकर टेक, हेल्थकेयर, कंस्ट्रक्शन और केयरगिविंग सेक्टर में काम करने वालों के लिए अवसर होंगे. नए नियमों का सबसे बड़ा फायदा अमेरिका में H-1B वीज़ा पर फंसे भारतीयों, कनाडा में पहले से वर्क परमिट पर मौजूद लोगों और ग्रामीण इलाकों में बसने को तैयार लोगों को मिलेगा.







