
क्या BJP के लिए मनरेगा जैसा चुनावी गेमचेंजर बन सकेगा बुजुर्गो के लिए आयुष्मान का वादा?
AajTak
शिक्षा-स्वास्थ्य और रोजगार पर किया गया काम सरकारों के लिए हमेशा से फायदे का सौदा रहा है. यूपीए 2 के आने का कारण मनरेगा को माना गया था. आम आदमी पार्टी की मुफ्त बिजली पानी योजना उसे दिल्ली में लगातार मजबूत बनाए हुए है.
जिन लोगों को 2009 का लोकसभा चुनाव याद होगा, उन्हें यह भी पता होगा कि किस तरह यूपीए सरकार की वापसी की कोई उम्मीद नहीं थी पर मनमोहन सरकार की एक योजना ने कांग्रेस पार्टी को जीवनदान दे दिया. मनमोहन सरकार ने महात्मा गांधी रोजगार गारंटी योजना शुरू की थी जो आगे चलकर यूपीए सरकार के लिए तारणहार साबित हुई. हालांकि किसी चुनावों में जीत का कोई एक कारण नहीं होता है पर यह भी सही है कि हर चुनाव में कोई एक कारण कैटेलिस्ट के रूप में काम करता है. बीजेपी के लिए यह चुनाव बहुत अहम है. एक तरफ तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 400 पार का नारा लगा रहे हैं पर यह भी सही है की पार्टी जिस तरह माइक्रो मैनेजमेंट कर रही है उससे यही लगता है कि कहीं न कहीं पूर्ण बहुमत में न आने का डर भी है. इस बीच बीजेपी ने रविवार को अपना घोषणापत्र जारी किया है. घोषणा पत्र मे पार्टी ने 70 साल तक के सभी बुजुर्गों के लिए आयुष्मान कार्ड की घोषणा कर दी है. राजनीतिक विश्लेषक इसे मनरेगा की तरह का गेमचेंजर बता रहे हैं. आइये देखते हैं क्या वास्तव में यह बीजेपी के लिए कितना प्रभावी साबित होने वाली है.
सत्तर प्रतिशत से भी अधिक लोग आयुष्मान के लाभार्थी
देश में लगभग 13.44 करोड़ परिवार यानि कि करीब 65 करोड़ लोग आयुष्मान योजना से से लाभ ले सकते हैं.सूचना का अधिकार अधिनियम के माध्यम से प्राप्त आंकड़ों के आधार पर इंडियन एक्सप्रेस लिखता है कि अब तक 32.40 करोड़ लोगों को आयुष्मान भारत कार्ड जारी किये जा चुके हैं. दस्तावेजों के विश्लेषण से पता चलता है कि 2018 और 2023 के बीच, 5.47 करोड़ मरीजों ने इस योजना के तहत इलाज कराया. देश में कुल करीब 90 करोड़ वोटर्स हैं.मलतब साफ है कि देश के कुल वोटर्स में करीब 70 प्रतिशत से अधिक इस योजना के लाभ उठाने के काबिल हैं.
जैसा कि बीजेपी ने अपने चुनावी घोषणापत्र में वादा किया है उसके मुताबिक अब 70 साल तक के लोग इस योजना का लाभ उठा सकेंगे. भारत में सत्तर साल से ऊपर के लोगों की जनसंख्या करीब 11.6 करोड़ लोग है.जबकि 50 वर्ष और उससे अधिक आयु की कुल जनसंख्या 26 करोड़ है. 70 साल तक के लोग तो इस योजना का लाभ उठा सकते हैं पर 50 के ऊपर के लोग भी इस योजना से प्रभावित होंगे. पहली बात तो ये कि 50 प्लस वालों के माता-पिता या सगे संबंधी 70 के हो चुके होते हैं. इसलिए उनकी जिम्मेदारी भी कम होगी.दूसरे 50 प्लस के ऊपर वाले लोग भी अपने भविष्य के बारे में सोचते हैं. उन्हें भी उम्मीद बढ़ेगी कि हो सकता है कि सरकार जल्दी ही 50 की उम्र तक के लोगों को शामिल कर लें. इस तरह करीब 70 करोड़ लोग इस योजना के लाभार्थियों में शामिल होंगे. मतलब साफ है कि देश के एक बहुत बड़े हिस्से को यह योजना फायदा पहुंचाने वाली है.
आयुष्मान भारत योजना में और सुधार की उम्मीद
सूचना का अधिकार (आरटीआई) अधिनियम के माध्यम से प्राप्त आंकड़ों और दस्तावेजों के विश्लेषण से पता चलता है कि 2018 और 2023 के बीच, 5.47 करोड़ मरीजों ने इस योजना के तहत इलाज कराया. जहां पहले तीन वर्षों में वार्षिक औसत लगभग 49 लाख रोगियों का था, वहीं बाद के तीन वर्षों में इसमें वृद्धि देखी गई. अस्पताल में भर्ती होने के दौरान होने वाले खर्चों के अलावा, यह योजना अस्पताल में भर्ती होने से पहले के तीन दिनों और अस्पताल में भर्ती होने के 15 दिनों के बाद के दवाओं को भी कवर करती है. लोगों की इच्छा है कि इस योजना में ओपीडी को भी शामिल किया जाए. इसके साथ ही ऐसी सुविधा मिले कि लोग टॉप अप के द्वारा इस योजना में आवंटित रकम में अपने सुविधानुसार बढ़वा सकें.जिस तरह सरकार हर साल इस योजना में कुछ सुधार कर रही है उम्मीद है कि इस तरह के सुधार जल्द ही किए जाएंगे.

आज रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ शिखर वार्ता के मौके पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत–रूस मित्रता एक ध्रुव तारे की तरह बनी रही है. यानी दोनों देशों का संबंध एक ऐसा अटल सत्य है, जिसकी स्थिति नहीं बदलती. सवाल ये है कि क्या पुतिन का ये भारत दौरा भारत-रूस संबंधों में मील का पत्थर साबित होने जा रहा है? क्या कच्चे तेल जैसे मसलों पर किसी दबाव में नहीं आने का दो टूक संकेत आज मिल गया? देखें हल्ला बोल.

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि मंदिर में जमा पैसा देवता की संपत्ति है और इसे आर्थिक संकट से जूझ रहे सहकारी बैंकों को बचाने के लिए इस्तेमाल नहीं किया जा सकता. कोर्ट ने केरल हाई कोर्ट के उस आदेश को बरकरार रखा, जिसमें थिरुनेल्ली मंदिर देवस्वोम की फिक्स्ड डिपॉजिट राशि वापस करने के निर्देश दिए गए थे. कोर्ट ने बैंकों की याचिकाएं खारिज कर दीं.

देश की किफायत विमानन कंपनी इंडिगो का ऑपरेशनल संकट जारी है. इंडिगो को पायलट्स के लिए आए नए फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिटेशन (FDTL) नियमों को लागू करने में भारी दिक्कत आ रही है. इस बीच आज इंडिगो की 1000 से ज्यादा फ्लाइट्स कैंसिल हो गई है, जिस पर कंपनी के सीईओ का पहला बयान सामने आया है. इंडिगो के सीईओ पीटर एल्बर्स ने इंडिगो ऑपरेशनल संकट पर पहली बार बयान देते हुए कहा कि पिछले कुछ दिनों से विमानन कंपनी के कामकाज में दिक्कतें आ रही हैं. कंपनी का कामकाज पांच दिसंबर को सबसे अधिक प्रभावित हुआ है. आज 100 से ज्यादा फ्लाइट्स कैंसिल हुई हैं.

संसद के शीतकालीन सत्र में 8 और 9 दिसंबर 2025 को राष्ट्रगीत वंदे मातरम् पर दोनों सदनों में विशेष चर्चा होगी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय मंत्री इस चर्चा को संबोधित करेंगे. चर्चा का उद्देश्य वंदे मातरम् के स्वतंत्रता संग्राम में योगदान, ऐतिहासिक महत्व और वर्तमान प्रासंगिकता को उजागर करना है.

भारत-रूस बिजनेस फोरम में पीएम मोदी ने कहा कि भारत और रूस के बीच संबंध मजबूत हो रहे हैं और दोनों देशों ने द्विपक्षीय व्यापार को बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण लक्ष्यों को निर्धारित किया है. राष्ट्रपति पुतिन के साथ चर्चा में यह स्पष्ट हुआ कि व्यापार लक्ष्य समय से पहले पूरा किया जाएगा. कई क्षेत्रों जैसे लॉजिस्टिक्स, कनेक्टिविटी, मरीन प्रोडक्ट्स, ऑटोमोबाइल, फार्मा, और टेक्सटाइल में सहयोग को आगे बढ़ाया जा रहा है.

जम्मू-कश्मीर के 711 अग्निवीर आज भारतीय सेना का हिस्सा बन गए हैं. श्रीनगर स्थित जम्मू कश्मीर लाइट इन्फैंट्री रेजिमेंट सेंटर में इन्हें कठोर प्रशिक्षण दिया गया, जिसके बाद ये अग्निवीर देश की सुरक्षा के लिए सीमाओं पर तैनात होंगे. इससे न केवल भारतीय सेना की क्षमता में वृद्धि हुई है, बल्कि क्षेत्रीय सुरक्षा भी मजबूत हुई है.

देवेंद्र फडणवीस के नेतृत्व वाली महायुति सरकार ने शुक्रवार को अपने एक साल का सफर तय कर लिया है. संयोग से इस समय महाराष्ट्र में स्थानीय निकायों के चुनाव चल रहे हैं, जिसे लेकर त्रिमूर्ति गठबंधन के तीनों प्रमुखों के बीच सियासी टसल जारी है. ऐसे में सबसे ज्यादा चुनौती एकनाथ शिंदे के साथ उन्हें बीजेपी के साथ-साथ उद्धव ठाकरे से भी अपने नेताओं को बचाए रखने की है.






