
अहमदाबाद: बांग्लादेशियों का अड्डा बन चुके चंडोला तालाब में फिर शुरू हुई डिमोलिशन प्रक्रिया, 8 हजार से ज्यादा अवैध निर्माण होंगे ध्वस्त
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अहमदाबाद के चंडोला तालाब पर फिर से डिमोलिशन शुरू हो गया है. 3 हजार पुलिस कर्मियों की मौजूदगी में 3 दिन डिमोलिशन चलेगा. नगर निगम ने पहले चरण के बाद दूसरे चरण के लिए सर्वे किया था, जिसमें 8 हजार अवैध निर्माण पाए गए, जिन्हें खाली करने का नोटिस दिया गया था.
अहमदाबाद के चंडोला तालाब पर फिर से डिमोलिशन शुरू हो गया है. 3 हजार पुलिस कर्मियों की मौजूदगी में 3 दिन डिमोलिशन चलेगा. इस दौरान 8 हजार से ज्यादा अवैध निर्माण ध्वस्त किए जाएंगे. अहमदाबाद नगर निगम की 50 टीमें 3 हजार पुलिसकर्मियों के साथ मिलकर इन अवैध निर्माणों को हटाएंगी. जानकारी के मुताबिक दूसरे फेज में 8 हजार से ज्यादा अवैध निर्माण ध्वस्त किए जाएंगे. जिससे 2.5 लाख स्क्वायर मीटर जगह खाली होगी. पहले फेज में 4 हजार अवैध निर्माण हटाए गए थे. जिसके बाद 1.5 लाख स्क्वायर मीटर जगह खाली हुई थी.
नगर निगम ने पहले चरण के बाद दूसरे चरण के लिए सर्वे किया था, जिसमें 8 हजार अवैध निर्माण पाए गए, जिन्हें खाली करने का नोटिस दिया गया था. अहमदाबाद नगर निगम का कहना है कि साल 2010 से पहले से रह रहे लोगों को वैकल्पिक आवास मिलेगा, जिसके लिए नियमों के अनुसार फॉर्म सभी को दिया गया है. जो इसके तहत पात्र होंगे, उन्हें यहां से हटने पर वैकल्पिक आवास प्रदान किया जाएगा. नगर निगम ने इसके लिए पूरी तैयारी कर ली है. 50 बुलडोजर के साथ फिर एक बार चंडोला तालाब पर अवैध निर्माण हटाए जाएंगे.
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बांग्लादेशी नागरिकों का ठिकाना बन चुका है चंडोला तालाब
पुलिस कमिश्नर जीएस मलिक ने कहा कि ये अवैध निर्माण अवैध बांग्लादेशी नागरिकों का ठिकाना बन चुके थे. पिछले महीने शहर में 250 अवैध बांग्लादेशी नागरिक पकड़े गए थे, जिनमें से 207 चंडोला तालाब के अवैध निर्माणों में रहते थे और गैरकानूनी गतिविधियों से जुड़े थे. इससे पहले साल 2009 में 95 अवैध बांग्लादेशी पकड़े गए थे, तब भी यहां डिमोलिशन किया गया था. डिमोलिशन के दूसरे चरण के दौरान एक जेसीपी, एक एडीसीपी, 6 डीसीपी, एसीपी, और पीआई सहित कुल 3 हजार से ज्यादा पुलिस कर्मी तैनात रहेंगे. 25 एसआरपी कंपनियां भी मौजूद रहेंगी.
पहले चरण के दौरान स्थानीय लोगों ने गुजरात हाईकोर्ट में जाकर डिमोलिशन रोकने की मांग की थी, लेकिन कोर्ट ने तालाब पर बने सभी निर्माणों को अवैध बताते हुए डिमोलिशन पर रोक नहीं लगाई थी. इसके बाद प्रशासन ने 4 हजार अवैध निर्माण ध्वस्त कर दिए थे. अब दूसरे चरण में बाकी अवैध निर्माणों को ध्वस्त करके तालाब का हिस्सा खाली करवाया जाएगा. प्रशासन यह भी सुनिश्चित करेगा कि इस खाली जगह पर दोबारा कोई अवैध निर्माण न हो.

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