
AAP और कांग्रेस के बीच नीतीश बनेंगे फेविकोल? जानें केजरीवाल से मिलने दिल्ली क्यों आए बिहार के CM
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बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की. गौरतलब है नीतीश कुमार ने पिछले महीने भी विपक्षी एकजुटता को लेकर अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की थी. ऐसे में सवाल खड़े हो रहे हैं कि ऐसी क्या जरूरत आन पड़ी थी जो उन्हें दोबारा से केजरीवाल से मुलाकात करनी पड़ी.
कर्नाटक में कांग्रेस सरकार के गठन के बाद बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार एक बार फिर से देश में विपक्षी एकता को मजबूत करने की कवायद में जुट गए हैं. 20 मई को कर्नाटक में कांग्रेस की नई सरकार का गठन हो गया. इसके बाद रविवार को नीतीश कुमार एक बार फिर से देश में विपक्षी एकजुटता की मुहिम में जुट गए.
इसी कड़ी में रविवार को उन्होंने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की. गौरतलब है नीतीश कुमार ने पिछले महीने भी विपक्षी एकजुटता को लेकर अरविंद केजरीवाल से मुलाकात की थी. तो ऐसे में सवाल खड़े हो रहे हैं कि ऐसी क्या जरूरत आन पड़ी थी जो उन्हें दोबारा से केजरीवाल से मुलाकात करनी पड़ी.
फिर मुलाकात करने क्यों पहुंचे नीतीश?
इसके पीछे की वजह तलाश करें तो पता चलता है कि जिस तरीके से दिल्ली और पंजाब में अरविंद केजरीवाल की आम आदमी पार्टी और कांग्रेस एक दूसरे की प्रतिद्वंदी है और फिर कर्नाटक में सिद्धारमैया के शपथ ग्रहण समारोह में भी कांग्रेस ने अरविंद केजरीवाल को न्योता नहीं दिया गया, इससे स्पष्ट है कि 2024 लोकसभा चुनाव में विपक्षी एकता कमजोर होती दिखाई देती है.
कांग्रेस और केजरीवाल के बीच की दूरियां कम करने में जुटे नीतीश
यही वजह है कि नीतीश कुमार जो इस वक्त देश में विपक्षी गोलबंदी के अगुआ बने हुए हैं, उन्होंने कांग्रेस और केजरीवाल के बीच की दूरी को कम करने की कोशिश की है. बताया जा रहा है कि केजरीवाल से मुलाकात के बाद नीतीश कुमार की कोशिश यह है कि कम से कम 2024 लोकसभा चुनाव के लिए केजरीवाल और कांग्रेस के बीच रिश्ते कुछ बेहतर हों. इससे नीतीश के विपक्षी एकजुटता वाले फॉर्मूले को बल मिलेगा.

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