रांची की वो विंटेज कार, जिसमें महात्मा गांधी और लाल बहादुर शास्त्री ने किया था सफर...
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झारखंड में रांची के स्वतंत्रता सेनानी परिवार ने दावा किया है कि उनके पास महात्मा गांधी द्वारा इस्तेमाल की गई एक विंटेज कार है. परिवार बताता है कि 1940 में 18 से 20 मार्च तक रामगढ़ (झारखंड) सम्मेलन आयोजित किया गया था. इसमें हिस्सा लेने के लिए गांधी भी आए थे.
देश की आजादी के 77 साल पूरे हो गए हैं. आजादी की लड़ाई में गांव से लेकर शहर तक के लोगों ने हिस्सा लिया. इन लोगों का जोश-जुनून और जज्बा आज भी याद किया जाता है. इस लड़ाई में हमारे स्वतंत्रता सेनानियों ने जगह-जगह मीटिंग की और अंग्रेजों के खिलाफ बिगुल फूंकने के लिए लोगों को उत्साहित किया. ऐसे ही मीटिंग और सम्मेलन झारखंड के रांची में भी हुए, जिसमें महात्मा गांधी से लेकर अन्य बड़े सेनानी शामिल हुए.
रांची में आज भी महात्मा गांधी से जुड़ी यादों को संजोकर रखा गया है. यहां एक परिवार के पास वो विंटेज कार है, जिसका इस्तेमाल कभी महात्मा गांधी और लाल बहादुर शास्त्री ने किया था. गांधीजी ने 1940 में ऐतिहासिक रामगढ़ सम्मेलन में रांची से रामगढ़ तक विंटेज फोर्ड कार में यात्रा की थी.
'रामगढ़ में भारत छोड़ो आंदोलन की रखी थी नींव'
रांची के स्वतंत्रता सेनानी परिवार ने दावा किया है कि उनके पास महात्मा गांधी द्वारा इस्तेमाल की गई एक विंटेज कार है. परिवार बताता है कि 1940 में 18 से 20 मार्च तक रामगढ़ (झारखंड) सम्मेलन आयोजित किया गया था. इसमें हिस्सा लेने के लिए गांधी भी आए थे. तब गांधीजी के साथ राय साहब लक्ष्मी नारायण और राम नारायण सम्मेलन में शामिल होने के लिए इसी विंटेज कार से पहुंचे थे. ऐसा माना जाता है कि ऐतिहासिक रामगढ़ सम्मेलन में ही भारत छोड़ो आंदोलन की मजबूत नींव रखी गई थी.
'गर्व महसूस करता है राय परिवार'
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