
बात केवल नीतीश कुमार और बीजेपी की नहीं... बिहार में बदले सियासी हालात से इन 4 नेताओं का फ्यूचर भी दांव पर
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बिहार में बढ़ी सियासी हलचल के बीच बात केवल नीतीश कुमार और बीजेपी की ही नहीं, एनडीए के सहयोगी चार दलों और उनके नेताओं के सियासी भविष्य की भी हो रही है. जानिए क्यों?
बिहार में सियासी हालात बदल गए हैं. महागठबंधन सरकार की अगुवाई कर रही नीतीश कुमार की अगुवाई वाली जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) और लालू यादव की राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के बीच तल्खी इस कदर बढ़ गई है कि सरकार पर बन आई है. नीतीश कुमार ने सीएम हाउस पर जेडीयू नेताओं के साथ बैठक की है वहीं लालू यादव और डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने राबड़ी देवी के आवास पर आरजेडी नेताओं के साथ. दिल्ली में अमित शाह ने बिहार बीजेपी के अध्यक्ष सम्राट चौधरी, पूर्व डिप्टी सीएम रेणु देवी और अन्य नेताओं के साथ बैठ की तो वहीं इससे पहले बिहार बीजेपी प्रभारी के आवास पर भी बैठक हुई.
दिल्ली में सियासी गहमा-गहमी के बीच अब यह करीब-करीब तय हो गया है कि बिहार में अब बीजेपी और जेडीयू मिलकर सरकार बनाएंगे. 28 जनवरी को नीतीश कुमार मुख्यमंत्री पद की शपथ ले सकते हैं. ऐसे में अब चर्चा चिराग पासवान, पशुपति पारस, जीतनराम मांझी और उपेंद्र कुशवाहा जैसे नेताओं और उनकी पार्टियों के एनडीए में भविष्य को लेकर भी होने लगी है. अब इन नेताओं और इनकी पार्टियों का क्या होगा?
नीतीश की वापसी के बाद चिराग का क्या होगा?
नीतीश और चिराग के बीच की तल्खी जगजाहिर है. चिराग ने तब भी नीतीश के खिलाफ आक्रामक रुख अपना रखा था जब वह एनडीए में थे. बिहार चुनाव में चिराग ने जेडीयू के खिलाफ उम्मीदवार तक उतार दिए थे. चिराग की पार्टी एक भी सीट नहीं जीत सकी लेकिन करीब दो दर्जन सीटों पर नीतीश कुमार की पार्टी की हार की वजह जरूर बन गई.
बिहार चुनाव के बाद नीतीश कुमार और उनकी पार्टी के तीखे तेवरों को देख बीजेपी ने चिराग को एक तरह से उनके हाल पर छोड़ दिया था. एलजेपी टूट गई और पशुपति पारस को एलजेपी कोटे से केंद्र सरकार में मंत्री बना दिया गया. चिराग अपनी पार्टी में अकेले सांसद रह गए, बाकी सभी पारस के साथ हो लिए. चिराग की कुछ ही महीनों पहले एनडीए में वापसी हुई है.
बिहार के ताजा राजनीतिक घटनाक्रम को लेकर चिराग पासवान ने कहा है कि हम हालात पर नजर बनाए हुए हैं. उन्होंने यह भी कहा कि हमारी गृह मंत्री अमित शाह से बात हुई है. हमने अपने नेताओं के साथ बैठक कर भी चर्चा की है. तस्वीर साफ होने दीजिए फिर हम सभी सवालों के जवाब देंगे. चिराग नीतीश से जुड़े सवाल टालते ही नजर आए. ऐसे में ये सवाल और गहरा हो गया है कि नीतीश की एनडीए में वापसी के बाद चिराग और उनकी पार्टी का एनडीए में भविष्य क्या होगा, भूमिका क्या होगी?

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