'अगर वैक्सीन लगवाई तो मर जाएंगे', बिहार के इस गांव में टीकाकरण की अफवाहों से खौफ
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करियत गांव के निवासी प्रणव कुमार ने कहा, “ग्रामीण इलाकों में जो टीका लगाया जा रहा है वह गलत टीका है. हम लोग देख रहे हैं कि जो भी व्यक्ति टीका लगवा रहा है वह मरता ही है. सरकार ने सही टीका बेच दिया है और गलत वैक्सीन लोगों को दिया जा रहा है. मोबाइल और व्हाट्सएप पर लगातार आ रहा है कि वैक्सीन लगाने से लोग मर जाता है.”
देश में 18 साल से ज्यादा उम्र के लोगों के टीकाकरण अभियान के शुरू होने के काफी समय के बाद भी बिहार के सहरसा जिले के इस गांव में लोगों ने टीका नहीं लगवाया है. सहरसा के इस गांव के लोगों में वैक्सीन को लेकर किस प्रकार की भ्रांतियां और गलतफहमी है इसकी पड़ताल करने के लिए आजतक की टीम इस गांव में पहुंची. पतरघट प्रखंड के करियत गांव के निवासी 18 वर्षीय अमन कुमार पूछने पर बताते हैं कि भविष्य में भी उनका टीका लेने का कोई इरादा नहीं है, क्योंकि उनको लगता है कि टीका लेने के बाद व्यक्ति की मौत हो जाती है. अमन कुमार ने कहा, “हम लोगों ने कोरोना वायरस का टीका नहीं लगवाया है, क्योंकि लोगों का कहना है कि टीका लगाने के बाद व्यक्ति मर जाता है और मरने से तो सब को डर लगता है.”पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ ने आखिरकार माना है कारगिल युद्ध पाकिस्तान की गलती का नतीजा था. मसलन, उन्होंने स्वीकार किया कि पाकिस्तान ने 1999 के लाहौर समझौते का उल्लंघन किया था. तब आर्मी चीफ रहे परवेज मुशर्रफ ने गुप्त रूप से अपनी सेना कारगिल में भेजी थी, जिसकी वजह से भारत-पाकिस्तान के बीच बड़े पैमाने पर युद्ध छिड़ गया था.
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