
'सरदार पटेल' तो बीजेपी के खेमे में जा चुके, कांग्रेस क्या अब नींद से जागी है?
AajTak
कांग्रेस को समझना चाहिए कि पटेल पर किताब बांटने से या पटेल के नाम से प्रस्ताव पारित करने से सरदार पटेल की विरासत अब फिर से कांग्रेस को नहीं मिलने वाली है. बीजेपी सरदार को लेकर बहुत आगे निकल चुकी है. कांग्रेस बहुत देर से नींद से जागी है. जाहिर है कि वो अब वो रेस में बहुत पीछे है.
कांग्रेस का गुजरात अधिवेशन इस बार खास रहा. कांग्रेस आम तौर पर अपने अधिवेशनों में कभी गांधी और नेहरू के अलावा किसी अन्य नेता को महत्व नहीं देती रही है. कई बार तो पोस्टरों तक से गायब हो जाते रहे हैं सरदार पटेल, राजेंद्र प्रसाद और लाल बहादुर शास्त्री जैसे नेता. पर इस बार अहमदाबाद अधिवेशन में सरदार पटेल कांग्रेस के बड़े नेताओं में शुमार थे. कांग्रेस ने न केवल पटेल पर विशेष प्रस्ताव पारित किया बल्कि सीडब्ल्यूसी के सभी सदस्यों को पटेल ए लाइफ नाम की एक किताब भी भेंट की गई. करीब सभी बड़े नेताओं ने सरदार पटेल को याद किया.
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने सरदार पटेल और जवाहर लाल नेहरू के बीच संबंधों पर काफी कुछ कहा. पटेल पर विशेष प्रस्ताव में कांग्रेस ने कहा है कि आज दुश्मनी और विभाजन की ताकतें गांधी-नेहरू-पटेल की भाईचारे और सौहार्द की भावना को कमजोर कर रही हैं. इन ताकतों को हराने के लिए कांग्रेस सरदार पटेल के जीवन सिद्धांतों का पालन करते हुए इन तत्वों की फर्जी खबरों की फैक्ट्री को उजागर करने के लिए दृढ़ संकल्प लेती है.
पर शायद कांग्रेस अभी भी हकीकत से रूबरू नहीं है. कांग्रेस को समझना चाहिए कि पटेल पर किताब बांटने से या पटेल के नाम से प्रस्ताव पारित करने से सरदार पटेल की विरासत अब फिर से कांग्रेस को नहीं मिलने वाली है. बीजेपी सरदार को लेकर बहुत आगे निकल चुकी है. कांग्रेस रेस में बहुत पीछे है . आइये देखते हैं क्यों कांग्रेस के लिए बहुत मुश्किल है सरदार पटेल की विरासत को फिर से हासिल करना.
1- खड़गे ने पटेल पर बहुत कुछ कहा पर असली मुद्दे से कन्नी काट गए
खड़गे अपने अधिवेशन के दौरान अपनी स्पीच में पटेल और नेहरू के संबंधों के बारे में काफी कुछ बताया. खड़ने ने कहा कई घटनाएं और दस्तावेज पटेल और नेहरू के सौहार्दपूर्ण संबंधों के गवाह हैं. उन्होंने 1937 में गुजरात विद्यापीठ में सरदार पटेल के भाषण का हवाला देते हुए एक घटना सुनाई. उन्होंने बताया- उस दौरान नेहरू कांग्रेस के अध्यक्ष थे और गुजरात के युवा चाहते थे कि उन्हें प्रांतीय चुनावों में प्रचार के लिए बुलाया जाए.
सरदार पटेल ने 7 मार्च 1937 को कहा था कि जिस दिन गुजरात इस चुनाव आंदोलन में विजयी होकर कांग्रेस के प्रति अपनी वफादारी साबित करेगा, हम कांग्रेस अध्यक्ष नेहरूजी का फूलों से स्वागत करेंगे. खड़गे ने कहा कि इस बात से समझ सकते हैं कि सरदार पटेल नेहरू से कितना प्यार करते थे.

राष्ट्रपति पुतिन ने राजघाट पहुंचकर महात्मा गांधी को श्रद्धांजलि दी. इस दौरान उनकी गरिमामय उपस्थिति के साथ राष्ट्रपति भवन में उनका औपचारिक स्वागत किया गया और उन्हें गार्ड ऑफ ऑनर प्रदान किया गया. यह मुलाकात दो देशों के बीच रिश्तों की मजबूती को दर्शाने वाली थी. पुतिन ने महात्मा गांधी के आदर्शों का सम्मान करते हुए भारत की संस्कृति और इतिहास को सराहा. इस अवसर पर राजघाट की शांतिपूर्ण और पावन वायु ने सभी को प्रेरित किया.

पानीपत कांड में आरोपी पूनम के पति नवीन ने कहा कि बच्चों को जैसे पानी में तड़पाकर मारा गया, वैसे ही उसकी पत्नी को भी कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए. उसने किसी भी तांत्रिक कनेक्शन से इनकार किया. वहीं, पूनम की मां सुनीता देवी ने कहा कि बेटी शादी से पहले बिल्कुल सामान्य थी और कभी किसी बच्चे को नुकसान नहीं पहुंचाया. उन्होंने स्वीकारा कि यदि उसने यह अपराध किया है तो उसे उसकी सजा जरूर मिलनी चाहिए.

माधव राव ने कुछ स्वयंसेवकों को मुस्लिम पहचान देकर विभाजित पंजाब के शहरों में मुस्लिम लीग के प्रभाव वाले क्षेत्रों में तैनात कर दिया. ये लोग बताते थे कि कैसे पूरी तैयारी के साथ मुस्लिम लीग के लोग हिंदू बाहुल्य इलाकों की रिपोर्ट तैयार करते हैं, और फिर हमला करते थे. RSS के 100 सालों के सफर की 100 कहानियों की कड़ी में आज पेश है उसी घटना का वर्णन.

पिछले दो दिनों से इंडिगो की उड़ानों में भारी रद्द होंगे देखे गए हैं. इस वजह से DGCA ने 4 दिसंबर को इंडिगो के अधिकारियों के साथ महत्वपूर्ण बैठक की है. 3 और 4 दिसंबर को लगभग 250 से 300 फ्लाइट्स रद्द हो चुकी हैं, जिससे यात्री प्रभावित हुए हैं. DGCA का मकसद इंडिगो के कामकाज में सुधार लाना और यात्रियों की असुविधा को कम करना है.

शिवसेना UBT सांसद प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा है कि मंत्री राम मोहन नायडू को इंडिगो संकट को लेकर संसद में स्पष्ट जानकारी देनी चाहिए। उन्होंने कहा कि नागरिक उड्डयन मंत्रालय को इंडिगो पर उचित कार्रवाई करनी चाहिए क्योंकि इंडिगो ने यात्रियों को काफी परेशानी में डाला है. प्रियंका चतुर्वेदी ने यह भी कहा कि इंडिगो के पास नियमों में हुए बदलावों की पूरी जानकारी थी, लेकिन इसके बावजूद यात्रियों को असुविधा हुई.








