
Explainer: क्या है ELI स्कीम, 15000 रुपये मुफ्त में देगी सरकार, किसे और कैसे मिलेगा लाभ... जानिए सबकुछ
AajTak
ELI Details: ईएलआई स्कीम की मंजूरी 1 जुलाई, 2025 को मोदी कैबिनेट ने दे दी है. इस योजना के तहत नई नौकरी शुरू करने वालों को सरकार की तरफ से सब्सिडी के तौर पर 1 महीने की सैलरी के बराबर 15 हजार रुपये दिए जाएंगे. आइए जानते हैं ये रकम किसे और कब मिलेगी.
केंद्र सरकार ने 1 जुलाई को एक बड़े योजना की मंजूरी दी है. इस स्कीम का लंबे समय से इंतजार किया जा रहा था. खासकर तबसे, जब वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट 2024-25 में इस योजना का ऐलान किया था. यह ELI योजना (Employment Linked Incentive Scheme) है, जिसके लिए 99,446 करोड़ रुपये का बजट 1 जुलाई 2025 को नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली कैबिनेट ने मंजूर किया.
ईएलआई स्कीम की सबसे खास बात ये है कि नई नौकरी शुरू करने वालों को सरकार की तरफ से सब्सिडी के तौर पर 1 महीने की सैलरी के बराबर या, 15 हजार रुपये दी जाएगी. ELI स्कीम के तहत सरकार कंपनियों को भी 2 साल तक प्रोत्साहन देगी. सरकार का अनुमान है कि इस स्कीम के जरिए सभी सेक्टर्स को मिलाकर 2 साल में 3.5 करोड़ से ज्यादा नौकरियां पैदा होंगी. आइए विस्तार से जानते हैं इस योजना के तहत किसे-कितना और क्या-क्या लाभ मिलेंगे...
क्या है ELI योजना? ELI योजना (Employment Linked Incentive Scheme) का ऐलान, केंद्रीय बजट 2024-25 में प्रधानमंत्री की पांच योजनाओं के पैकेज के हिस्से के रूप में की गई थी, जिसका कुल बजट खर्च 2 लाख करोड़ रुपये रखा गया है और 4.1 करोड़ युवाओं के लिए रोजगार के अवसर पैदा करना है. इस योजना को दो भाग में बांटा गया है. पहला- पहली बार नौकरी करने वाले कर्मचारी (Employees) और दूसरा- नियोक्ताओं (Employers) पर फोकस.
पहला-पहली बार नौकरी करने वाले EPFO के साथ रजिस्टर्ड पहली बार काम करने वाले कर्मचारियों को फोकस में रखते हुए, इस पार्ट में 1 महीने का EPF वेतन 15,000 रुपये तक दो किस्तों में दिया जाएगा. यह कर्मचारियों की सैलरी से अलग सहायता राशि है. हालांकि इसके लिए EPFO रजिस्टर्ड होना आवश्यक है. पहली किस्त 6 महीने की सर्विस के पूरे होने पर और दूसरी किस्त 12 महीने की सर्विस पूरे होने पर दी जाएगी.
किसे मिलेंगे 15 हजार रुपये? 15000 रुपये की सहायता सभी कर्मचारियों को नहीं दी जाएगी. 1 लाख रुपये से ज्यादा वेतन वाले कर्मचारी इसके लिए पात्र नहीं होंगे. पहली बार नौकरी पर आने वाले लगभग 1.92 करोड़ कर्मचारियों को इसका लाभ दिया जाएगा. यह किस्त कर्मचारियों के सेविंग अकाउंट में भेजी जाएगी.
दूसरा- नियोक्ता पर फोकस दूसरे पार्ट में सरकार इस योजना के तहत नियोक्ता यानी कंपनियों को प्रोत्साहन राशि देगी. ताकि ज्यादा से ज्यादा नौकरियां पैदा करने में मदद मिले. मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर पर सरकार ज्यादा ध्यान देगी. नियोक्ता को 1 लाख रुपये तक के वेतन वाले कर्मचारियों के आधार पर प्रोत्साहन दिया जाएगा. सरकार कंपनियों को कम से कम 6 महीने तक निरंतर रोजगार वाले हर अतिरिक्त कर्मचारी के लिए 2 साल तक 3000 रुपये प्रति माह तक का प्रोत्साहन देगी. मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर के लिए यह प्रोत्साहन तीसरे और चौथे साल तक भी बढ़ाया जा सकता है.













