
'पठान' रिलीज से पहले YRF ने बचाए 15-20 करोड़, शाहरुख खान शुरू करेंगे नया ट्रेंड?
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शाहरुख खान, दीपिका पादुकोण और जॉन अब्राहम फिल्म से जुड़ी होने वाली किसी भी कॉन्ट्रोवर्सी का हिस्सा नहीं बनेंगे. कुछ कहेंगे नहीं तो कोई बवाल भी नहीं होगा. वैसे अजय देवगन की फिल्म 'दृश्यम 2' ने भी यही स्ट्रैटेजी को फॉलो किया था. तो क्या फिल्म की मार्केटिंग का यह एक अनोखा तरीका है जो मेकर्स ने खोज निकाला है?
25 जनवरी को शाहरुख खान की फिल्म 'पठान' रिलीज हो रही है. बस कुछ ही दिन बाकी हैं. किंग खान, बड़े पर्दे पर अपने फैन्स के सामने हाजिर हो जाएंगे. चार साल बाद शाहरुख स्क्रीन्स पर नजर आएंगे. तो लाज्मी है कि इनकी रिलीज ग्रैंड लेवल पर होने वाली है. लेकिन इससे पहले मेकर्स ने फिल्म के प्रमोशन को लेकर एक बड़ा कदम उठाया है. नई मार्केटिंग स्ट्रैटेजी तैयार की है, जिसमें कहा गया है कि फिल्म का कोई भी स्टार कास्ट मीडिया में इंटरव्यू नहीं देगा.
शाहरुख खान, दीपिका पादुकोण और जॉन अब्राहम फिल्म से जुड़ी होने वाली किसी भी कॉन्ट्रोवर्सी का हिस्सा नहीं बनेंगे. कुछ कहेंगे नहीं तो कोई बवाल भी नहीं होगा. वैसे अजय देवगन की फिल्म 'दृश्यम 2' ने भी यही स्ट्रैटेजी को फॉलो किया था. तो क्या फिल्म की मार्केटिंग का यह एक अनोखा तरीका है जो मेकर्स ने खोज निकाला है? इसके पीछे एक वजह यह हो सकती है कि फिल्म के प्रमोशन में काफी पैसा लगता है. उसे मेकर्स बचाकर किसी और प्रोजेक्ट के काम में ला सकते हैं. इंडिया टुडे ने इस बारे में कुछ ट्रेड एक्स्पर्ट्स से बात की है. आइए जानते हैं उनका क्या कहना है...
'पठान' को नहीं किसी प्रमोशन की जरूरत ट्रेड एक्स्पर्ट रमेश बाला का कहना है कि 'पठान' के साथ एक दिक्कत यह आई है कि यह रिलीज से पहले ही काफी कॉन्ट्रोवर्सी में आ गई है. लोग बिकिनी के रंग को लेकर, बायकॉट कल्चर को लेकर बातें कर रहे हैं. इंटरव्यूज अगर स्टार कास्ट देती हैं तो उनसे इस कॉन्ट्रोवर्सी पर जरूर सवाल किए जाएंगे. उनका स्टेटमेंट मोड़- तोड़कर पेश किया जाएगा. निगेटिविटी जेनरेट होगी. SRK से कॉन्ट्रोवर्सी को लेकर सवाल होंगे तो दीपिका से बिकिनी पर सवाल किए जाएंगे. तो कहीं न कहीं यह फिल्म पर बुरा प्रभाव डाल सकता है. जितनी भी ऑडियन्स ने फिल्म के ट्रेलर को देखा है, उसे पसंद आया है. यहां तक कि फिल्म की एडवांस बुकिंग भी काफी अच्छा परफॉर्म करती दिख रही हैं. फिल्म को प्रमोट करने के लिए इंटरव्यू देने की जरूरत फिर कहां आ पड़ी है. 'पठान' की स्टार कास्ट के पास तो वजह है कि वह मीडिया में इंटरव्यू न दे, फिर भी उनकी फिल्म चल जाएगी. शायद हिट हो जाएगी, लेकिन अगर यह तरीका बाकी के स्टार्स अपनाते हैं तो सोचने वाली बात है.
फिल्म प्रोड्यूसर और ट्रेड एनालिस्ट अमूल वी मोहन ने कहा, "यह कोई नया तरीका नहीं है कि आपकी फिल्म रिलीज हो रही है और आप मीडिया में इंटरव्यू नहीं दे रहे हैं. इससे पहले भी ऐसा हुआ है और 'दृश्यम 2' की स्टार कास्ट आपके सामने जीता- जागता उदाहरण है. शाहरुख खान 'पठान' के साथ कई सालों बाद बड़े पर्दे पर वापसी कर रहे हैं. YRF, किंद खान को स्पाई यूनिवर्स से रूबरू करा रहा है. तो सभी के लिए यह एक इवेंटफुल फिल्म है, जिसकी ट्रेडिशनल मार्केटिंग करना मुझे सही नहीं लगता. पिछली बार YRF ने रणबीर कपूर की फिल्म 'शमशेरा' का बड़े पैमाने पर प्रमोशन किया था. इंटरव्यूज हुए थे और सबकुछ हम लोगों ने देखा ही था. YRF के लिए कहना पड़ेगा कि वह अपनी फिल्मों के प्रमोशन्स काफी सूझबूझ से करते हैं. तो हमारे लिए शाहरुख की फिल्म का प्रमोशन न होना कोई नई बात नहीं है."
गलत स्टेटमेंट से हो सकती है कॉन्ट्रोवर्सी ट्रेड एनालिस्ट तरण आदर्श का कहना है कि सभी स्टार्स को इंटरव्यूज देने बंद कर देने चाहिए. तरण ने कहा, "शाहरुख की फिल्म की स्टार कास्ट ने जो कदम उठाया है, उससे फ्यूचर में आने वाली बाकी की फिल्मों के मेकर्स को भी सीख लेनी चाहिए. यह बात कोई नई नहीं है. 70-80 के दशक में भी इंटरव्यूज नहीं होते थे. उस समय फिल्मों के ट्रेलर आते थे. न्यूजपेपर में क्लिपिंग्स आती थीं. बड़े से बिलबोर्ड्स लगते थे. और आज के समय में कोई फिल्म आती है, स्टार उसके बारे में कुछ कहता है तो उसका स्टेटमेंट रातोरात वायरल होने लगता है. उसपर कॉन्ट्रवर्सी होनी शुरू हो जाती है. हमें यह सब क्यों चाहिए? मैं तो सभी प्रोड्यूसर्स, डायरेक्टर्स और एक्टर्स से रिक्वेस्ट करूंगा कि इंटरव्यू देने बंद कर दो. फिल्म की कहानी को बोलने दो. अपनी फिल्म को हाइलाइट करने के लिए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करो. और अगर आप इंटरव्यू देना ही चाहते हो तो एक छोटी सी वीडियो क्लिप शेयर कर दो और अपने सभी हैंडल्स पर उसे अपलोड कर दो."
तरण ने आगे कहा कि गलत स्टेटमेट से कॉन्ट्रोवर्सी होने के चांस रहते हैं. बॉलीवुड बायकॉट तो एक छोटी सी चीज है. स्टार्स अपने स्टेटमेंट के जरिए इतनी चीजें कह देते हैं कि जिसके कोई मायने भी नहीं होते. यहां तक कि उनके द्वारा बोली चीजें फिल्म से जुड़ी भी नहीं होती हैं. ऐसे में मीडिया में वह टारगेट बन जाते हैं. लोग भी उन्हें ट्रोल करने लगते हैं.

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