कनाडा: आदिवासी बच्चों को 'सभ्य' बनाने के नाम पर जुर्म, क़ब्रों और कंकालों की ग़वाही- दुनिया जहान
BBC
क़रीब 100 साल पहले कनाडा में आदिवासी बच्चों को उनके परिवारों से जबरन दूर कर उन्हें ‘सभ्य’ बनाने के लिए ख़ास स्कूलों में डाला गया और उन पर अमानवीय अत्याचार किए गए.
हर साल 30 जून को कनाडा अपना राष्ट्रीय दिवस मनाता है. इस साल एक तरफ जश्न की तैयारियां ज़ोरों पर थीं, तो दूसरी तरफ सास्काचेवान में आदिवासी बच्चों के लिए बने एक पुराने रेज़िडेन्शियल स्कूल में एक के बाद एक 751 कब्रें मिलीं . इस खोज ने जश्न के माहौल को मातम में बदल दिया. मई में ब्रिटिश कोलंबिया के कैमलूप्स इंडियन रेज़िडेन्शियल स्कूल में 215 बच्चों की कब्रें मिली थीं. इससे पहले भी कुछ स्कूलों में सैंकड़ों कब्रें खोदी गई थीं. एक अनुमान के अनुसार कनाडा के रेज़िडेन्शियल स्कूलों में अब तक 6000 से अधिक बच्चों की मौत हुई है. साथ ही ये प्रश्न भी उठने लगा कि इस तरह के 139 स्कूल थे. क्या उनके नीचे भी सैंकड़ों कंकाल दबे हुए हैं? सवाल ये भी कि देश के मूल निवासियों यानी आदिवासियों के साथ किस तरह का व्यवहार होता था? इस बार दुनिया जहान में पड़ताल कनाडा के रेज़िडेन्शियल आदिवासी स्कूलों के इतिहास की. हम ये जानने की कोशिश करेंगे कि यहां बड़ी संख्या में आदिवासी बच्चों की मौत क्यों हुई?More Related News